Rudraksh mala ke labh
Rudraksh Mala ke Labh : रुद्राक्ष हिंदू देवता भगवान शिव से जुड़ा हुआ हैं एवं आमतौर पर भक्तों द्वारा सुरक्षा कवच के तौर पर या ओम नमः शिवाय मंत्र के जाप के लिए पहने जाते हैं। रुद्राक्ष एक फल की गुठली है। इसका उपयोग आध्यात्मिक क्षेत्र में किया जाता है। ऐसा माना जाता है कि रुद्राक्ष की उत्पत्ति भगवान शंकर की आँखों के अश्रु से हुई है।
श्रवण माह भगवान् शिव को अति प्रिय है.. यदि रुद्राक्ष धारण करने का सोच रहे हैं? तो सावन में करें शुरुआत,, परन्तु रुद्राक्ष पहनने से पहले जाने कुछ नियम। खुद भगवान शिव ने शिव पुराण में मां पार्वती को रुद्राक्ष धारण करने के नियम, विधि और फायदे बताए हैं। साथ ही भोलेनाथ ने बताया है कि किस तरह के रुद्राक्ष नहीं पहनने चाहिए, और इसे धारण करते हुए किन मंत्रों का उच्चारण करना चाहिए। आईये जानतें हैं विस्तार से..
Rudraksh Mala ke Labh
जब मां पार्वती ने शिवजी से रुद्राक्ष माहात्म्य सुनाने के लिए कहा था तो शिवजी ने इस बारे में मां को विस्तार से बताया था, जिसकी कथा का वर्णन शिव पुराण में विद्येश्वर संहिता में मिलता है। भगवान शिव बताते हैं कि रुद्राक्ष परम पावन है और यह सौभाग्य की वृद्धि करने वाला है। ऐसे में आइये जानते हैं, शिवजी ने मां पार्वती को रुद्राक्ष की क्या महिमा सुनाई थी।
पौराणिक कथाओं के अनुसार, रुद्राक्ष की उत्पत्ति भगवान शिव के आंसुओं से हुई है। कहा जाता है कि जब भगवान शिव ने लंबे समय तक ध्यान करने के बाद अपनी आंखें खोलीं, तो उनकी आंखों से आंसू गिरे और उन आंसुओं से रुद्राक्ष के पेड़ उगे। इसलिए, रुद्राक्ष को भगवान शिव का स्वरूप माना जाता है और इसे पवित्र माना जाता है।
Rudraksh Mala ke Labh
रुद्राक्ष एक शक्तिशाली आध्यात्मिक रत्न है जिसके कई लाभ बताए गए हैं। यदि आप रुद्राक्ष धारण करने के इच्छुक हैं, तो विभिन्न मुखों वाले रुद्राक्ष के लाभों के बारे में जानकारी प्राप्त करें और अपनी आवश्यकताओं के अनुसार सही रुद्राक्ष का चयन करें।
Rudraksh Mala ke Labh : रुद्राक्ष धारण करने के नियम
– सुबह स्नान करके रुद्राक्ष धारण करना चाहिए।
– रात को सोते समय रुद्राक्ष उतार देना चाहिए।
– मांसाहार, मदिरापान, और अपवित्र स्थानों पर रुद्राक्ष नहीं पहनना चाहिए।
Rudraksh Mala ke Labh : विभिन्न मुखों वाले रुद्राक्ष के लाभ
चार मुखी रुद्राक्ष: एकाग्रता बढ़ाता है और विद्यार्थियों को समस्याओं का समाधान निकालने में मदद करता है।
पांच मुखी रुद्राक्ष: तनावग्रस्त और नर्वस रहने वाले विद्यार्थियों के लिए लाभकारी है।
छह मुखी रुद्राक्ष: बच्चे में सीखने की क्षमता बढ़ाता है और मेहनत करने की प्रेरणा देता है।
सात मुखी रुद्राक्ष: मां लक्ष्मी की कृपा दिलाता है और सुख-सौभाग्य में वृद्धि करता है।
13 मुखी रुद्राक्ष: धन की कमी को दूर करता है।
18 मुखी रुद्राक्ष: व्यापार में सफलता दिलाता है।
19 मुखी रुद्राक्ष: धन-दौलत में वृद्धि करता है।
21 मुखी रुद्राक्ष: धन का आगमन बढ़ाता है।
Rudraksh Mala ke Labh : रुद्राक्ष धारण करने के लाभ
भाग्य और समृद्धि:
रुद्राक्ष पहनने से भाग्य चमकता है, धन और समृद्धि आकर्षित होती है, और सफलता के मार्ग खुलते हैं।
मानसिक शांति और एकाग्रता:
रुद्राक्ष पहनने से मन शांत रहता है, तनाव कम होता है, और एकाग्रता में सुधार होता है।
शारीरिक स्वास्थ्य:
रुद्राक्ष रक्तचाप को नियंत्रित करने, हृदय रोगों से बचाने, और त्वचा रोगों में लाभ पहुंचाने में मदद करता है।
नकारात्मक ऊर्जा से सुरक्षा:
रुद्राक्ष नकारात्मक शक्तियों, बुरी नजर, और तांत्रिक क्रियाओं से बचाता है।
ज्ञान और बुद्धि में वृद्धि:
रुद्राक्ष धारण करने से ज्ञान, बुद्धि, और प्रसिद्धि में वृद्धि होती है।
पापों का नाश:
रुद्राक्ष पहनने से सभी पापों और बुरे कर्मों का नाश होता है।
———-
Read more : यहाँ पढ़ें और सुनें