आईएसआईएल-के ने अफगानिस्तान में भारत, चीन, ईरान के दूतावासों पर हमले की धमकी दी: संरा

आईएसआईएल-के ने अफगानिस्तान में भारत, चीन, ईरान के दूतावासों पर हमले की धमकी दी: संरा

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  • Publish Date - February 9, 2023 / 01:08 PM IST,
    Updated On - February 9, 2023 / 01:08 PM IST

(योशिता सिंह)

संयुक्त राष्ट्र, नौ फरवरी (भाषा) संयुक्त राष्ट्र ने एक रिपोर्ट में कहा है कि ‘इस्लामिक स्टेट इन इराक एंड द लेवांत-खुरासान’ (आईएसआईएल-के) ने अफगानिस्तान में भारत, ईरान और चीन के दूतावासों पर आतंकवादी हमले की धमकी दी है।

इसमें कहा गया कि उन्हें निशाना बनाकर यह आतंकवादी समूह तालिबान और मध्य एवं दक्षिण एशिया क्षेत्र में संयुक्त राष्ट्र के सदस्य देशों के बीच संबंधों को कमजोर करना चाहता है। आईएसआईएल द्वारा पैदा किए गए खतरे पर संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंतोनियो गुतारेस की एक रिपोर्ट में यह खुलासा किया गया है।

अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए आईएसआईएल (दाएश) द्वारा पेश किए जाने वाले खतरे और इस खतरे का मुकाबला करने में सदस्य देशों की मदद के संयुक्त राष्ट्र के प्रयासों पर महासचिव की 16वीं रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘आईएसआईएल-के मध्य एवं दक्षिण एशिया में बड़ा आतंकवादी खतरा है और अपने बाह्य अभियानों को अंजाम देने की समूह की मंशा बरकरार है।’’

सुरक्षा परिषद बृहस्पतिवार को ‘आतंकवादी कृत्यों के कारण अंतरराष्ट्रीय शांति और सुरक्षा के लिए खतरे’ पर एक बैठक आयोजित करेगी। इस दौरान संयुक्त राष्ट्र के आतंकवाद-विरोधी कार्यालय के अवर महासचिव व्लादिमीर वोरोनकोव पिछले सप्ताह जारी यह रिपोर्ट पेश करेंगे।

रिपोर्ट में कहा गया है कि आईएसआईएल-के ने खुद को तालिबान के ‘‘प्राथमिक प्रतिद्वंद्वी’’ के रूप में स्थापित किया और वह कथित रूप से यह दिखाना चाहता है कि तालिबान देश में सुरक्षा प्रदान करने में सक्षम नहीं है।

इसमें कहा गया है, ‘‘आईएसआईएल-के विभिन्न राजनयिक मिशन को निशाना बनाकर तालिबान और क्षेत्र के सदस्य देशों के बीच संबंधों को कमजोर करना चाहता था।’’

रिपोर्ट में कहा गया है, ‘‘समूह ने अफगानिस्तान में चीन, भारत और ईरान के दूतावासों पर आतंकवादी हमले की भी धमकी दी थी।’’

भारत ने अफगानिस्तान में तालिबान की सत्ता में वापसी के बाद मिशन से अपने अधिकारियों को वापस बुला लिया था। इसके 10 महीने बाद पिछले साल जून में भारत ने काबुल के दूतावास में एक तकनीकी दल भेजा था।

इस रिपोर्ट में आतंकवादी मकसद के लिए नयी और उभरती प्रौद्योगिकियों के उपयोग का मुकाबला करने के संबंध में पिछले साल भारत में हुई संयुक्त राष्ट्र आतंकवाद विरोधी समिति की एक विशेष बैठक में अपनाए गए ‘‘दिल्ली घोषणा पत्र’’ का जिक्र किया गया है। इस रिपोर्ट में दिसंबर 2022 में सुरक्षा परिषद की भारत की अध्यक्षता में पारित बयान का भी संज्ञान लिया गया, जिसमें दिल्ली घोषणा पत्र को पारित किए जाने का स्वागत किया गया है।

भाषा सिम्मी प्रशांत

प्रशांत