No Man Enter in this village last 30 years but Ladies become Pregnant

30 साल से इस गांव में नहीं आया कोई मर्द,​ फिर भी प्रेग्नेंट हो जाती है महिलाएं, जानिए कैसे?

30 साल से नहीं आया कोई मर्द,​ फिर भी प्रेग्नेंट हो जाती है महिलाएं! No Man Enter in this village from last 30 years but Ladies

Edited By :   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:09 PM IST, Published Date : February 10, 2022/11:50 pm IST

नई दिल्ली: Ladies become Pregnant  हमारी दुनिया अजूबों से भरी पड़ी है। कई ऐसी चीजें सामने होती है जो दिखने में बेहद सरल लगती है, लेकिन उनके बारे में जान पाना इतना आसान नहीं रहता। बहुत सी ऐसी जगहें हैं और लोग हैं उनका अलग रहन-सहन और उनकी संस्‍कृति है जिन पर एक बार में विश्‍वास करना असंभव होगा। सोशल मीडिया पर इन दिनों ऐसे ही गांव सुर्खियों में है जहां पर पिछले 30 सालों से एक भी मर्द की एंट्री को बैन है, लेकिन यहां की महिलाएं आए दिन अचानक प्रेगेंट हो जाती हैं।

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Ladies become Pregnant ये साउथ अफ्रीका का उमोजा गांव है जहां सिर्फ महिलाओं और उनके बच्‍चों को रहने की इजाजत है। पिछले 30 साल से इस गांव में एक भी मर्द ने कदम नहीं रखा है क्‍योंकि यहां की महिलाओं ने ही एक बड़ी वजह से मर्दो की एंट्री को प्रतिबंधित कर रखा है। मर्दो की एंट्री तो बैन है लेकिन इसके बावजूद यहां की महिलाएं प्रेगनेंट हो जाती हैं और बच्‍चे के जन्‍म के बाद उनकी देखभाल अकेले करती हैं। वो ही मेहनत करके पैसे कमाती हैं और घर चलाती हैं। इन महिलाओं के बच्‍चों को भी नहीं पता कि उनके पिता कौन है।

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इस गांव में कुल महिलाओं की संख्‍या 250 है। घनघोर जंगलों के बीच बसे साउथ अफ्रीका के इस गांव में मर्दो के ना रहने के पीछे एक बड़ी वजह है। दरअसल, सालों पहले बिट्रिश सैनिक आए और जब कुछ महिलाएं जब भेड़ बकरियां चरा रही थी तभी आकर उनका रेप कर दिया था। जिसके बाद उन्‍हें पुरुषों से ऐसी घृणा हो गई कि उन 15 महिलाओं ने मिलकर पुरुषों से अलग होकर अपनी एक अलग दुनिया बसाने के लिए ये गांव बसा लिया और पुरुषों की एंट्री पर पाबंदी लगा दी।

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यहां पिछले 30 सालों से किसी पुरुष को एंट्री नहीं मिली लेकिन यहां की महिलाएं कैसे गर्भवती होती है ? ये कोई चमत्‍कार नहीं है। रात के अंधेरे में जंगल से मर्द चोरी से छिपते-छिपाते आ जाते हैं और यंग महिलाएं उनमें से अपने लिए पुरुष पसंद करती हैं और यौन संबंध बनाती हैं और जब तक गर्भवती नहीं होती तब तक संपर्क में रहती हैं और प्रेगनेंट होते ही उससे सारे संबंध खत्‍म कर देती है। बच्‍चे को भी उसके पिता के बारे में नहीं बताती हैं।

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गांव की स्थापना 1990 में 15 महिलाओं के एक समूह द्वारा की गई थी, जो स्थानीय ब्रिटिश सैनिकों द्वारा बलात्कार से बची थीं। उमोजा की आबादी में अब बाल विवाह, घरेलू हिंसा और बलात्कार की शिकार मलिलाएं भी शामिल हो चुकी हैं। उत्तरी केन्या के समबुरु के घास के मैदानों के बीच बसे इस गांव उमोजा में पारंप‍रिक वेशभूषा में रहने वाली इन महिलाओं ने अपने गांव में बच्‍चों के स्‍कूल भी खोल रखा है। ये सभी समबुरु मासाई जनजाति से संबंधित हैं, एक समान भाषा बोलते हैं।

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