अमेरिका के साथ व्यापार समझौते में किसानों, डिजिटल परिवेश की रक्षा करने की जरूरत: जीटीआरआई

अमेरिका के साथ व्यापार समझौते में किसानों, डिजिटल परिवेश की रक्षा करने की जरूरत: जीटीआरआई

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  • Publish Date - June 27, 2025 / 04:24 PM IST,
    Updated On - June 27, 2025 / 04:24 PM IST

नयी दिल्ली, 27 जून (भाषा) आर्थिक शोध संस्थान जीटीआरआई ने शुक्रवार को कहा कि अमेरिका के साथ कोई भी व्यापार समझौता राजनीतिक रूप से प्रेरित या एकतरफा नहीं होना चाहिए।

ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनीशिएटिव (जीटीआरआई) ने कहा कि भारत को अपने किसानों, डिजिटल परिवेश और नीतियों के मोर्चे पर रक्षा करने की जरूरत है।

भारत के मुख्य व्यापार वार्ताकार वाशिंगटन में हैं और अगले कुछ दिनों में यह तय हो सकता है कि भारत और अमेरिका सीमित लघु व्यापार समझौते के लिए करार करते हैं या वार्ता से दूर चले जाते हैं।

दोनों देश नौ जुलाई से पहले अंतरिम व्यापार समझौते को अंतिम रूप देने पर विचार कर रहे हैं। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चुनिंदा देशों के लिए 90 दिनों के लिए शुल्क लगाये जाने को टाल दिया था, उसकी समयसीमा नौ जुलाई को ही खत्म हो रही है।

जीटीआरआई के संस्थापक अजय श्रीवास्तव ने कहा कि आठ मई को घोषित अमेरिका-ब्रिटेन लघु व्यापार समझौते की तर्ज पर एक सीमित व्यापार समझौता होने की अधिक संभावना है।

उन्होंने कहा, ”अमेरिका के साथ कोई भी व्यापार समझौता राजनीतिक रूप से प्रेरित या एकतरफा नहीं होना चाहिए। इसे हमारे किसानों, हमारे डिजिटल परिवेश और हमारे नियामक तंत्र की रक्षा करनी चाहिए।”

जीटीआरआई के अनुसार, एक लघु या अंतरिम समझौते के तहत भारत से वाहन सहित कई औद्योगिक वस्तुओं पर शुल्क में कटौती की उम्मीद है, जिसकी अमेरिका लगातार मांग करता रहा है।

इसके अलावा भारत कृषि में एथनॉल, बादाम, अखरोट, सेब, किशमिश, एवोकाडो, जैतून का तेल, स्पिरिट और वाइन जैसे चुनिंदा अमेरिकी उत्पादों पर शुल्क घटा सकता है।

भाषा पाण्डेय रमण

रमण