हिमाचल में कांग्रेस की जीत तय, मुख्यमंत्री पर फैसला करने में कोई दिक्कत नहीं होगी: सुक्खू

हिमाचल में कांग्रेस की जीत तय, मुख्यमंत्री पर फैसला करने में कोई दिक्कत नहीं होगी: सुक्खू

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  • Publish Date - November 24, 2022 / 02:09 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:03 PM IST

नयी दिल्ली, 24 नवंबर (भाषा) कांग्रेस की हिमाचल प्रदेश इकाई के वरिष्ठ नेता सुखविंदर सिंह सुक्खू ने राज्य विधानसभा चुनाव में उनकी पार्टी को पूर्ण बहुमत मिलने की उम्मीद जताते हुए बृहस्पतिवार को कहा कि नतीजे आने के बाद मुख्यमंत्री का चयन करने में कोई दिक्कत नहीं होगी।

कांग्रेस की जीत की स्थिति में मुख्यमंत्री पद के प्रबल दावेदारों में शुमार किए जा रहे सुक्खू ने यह भी कहा कि विधायकों की राय के आधार पर आलाकमान जिसे अपना आशीर्वाद देगा, वह हिमाचल प्रदेश का मुख्यमंत्री होगा।

हिमाचल प्रदेश की सभी 68 विधानसभा सीटों पर गत 12 नवंबर को मतदान संपन्न हुआ। आगामी आठ दिसंबर को मतगणना होगी।

सुक्खू ने ‘पीटीआई-भाषा’ के साथ बातचीत में कहा, ‘‘कांग्रेस पूर्ण बहुमत की सरकार बनाएगी। हमने पहले भी लोगों की राय ली थी और मतदान के बाद भी लोगों की राय ले रहे हैं। अब इस नतीजे पर पहुंचे हैं कि हिमाचल प्रदेश में कांग्रेस को पूर्ण बहुमत मिल रहा है।

जीत की स्थिति में मुख्यमंत्री के चयन से जुड़े सवाल पर सुक्खू ने कहा, ‘‘जब विधायक चुनकर आएंगे तो उनके साथ विचार-विमर्श किया जाएगा। इसके बाद कांग्रेस अलाकमान फैसला करेगा। मुख्यमंत्री चुनने में कोई दिक्कत नहीं होगी।’’

उन्होंने इस धारणा को खारिज कर दिया कि चुनाव के आखिरी कुछ दिनों में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सभाओं का व्यापक असर हुआ है।

उन्होंने कहा, ‘‘जयराम ठाकुर सरकार की विफलताएं रही हैं, यह सरकार लोगों की उम्मीद के मुताबिक काम नहीं कर सकी, युवा परेशान थे, महिलाएं परेशान थीं और किसान-बागबान परेशान थे। यह चुनाव इसी आधार पर हुआ है।’’

सुक्खू ने पुरानी पेंशन योजना (ओपीएस) की बहाली के वादे के संदर्भ में कहा, ‘‘सरकार बनने पर हम ओपीएस भी देंगे और महिलाओं को सम्मान राशि भी देंगे। हम वित्तीय प्रबंधन को लेकर नीतियां बनाएंगे। हम जनता की आकांक्षाओं को पूरा करने वाली सरकार बनेंगे।

उन्होंने कहा, ‘‘कांग्रेस के चुनाव अभियान का पूरा श्रेय प्रियंका गांधी जी को जाता है। घोषणापत्र से लेकर रणनीति बनाने तक उनकी प्रमुख भूमिका रही है। हम लोगों ने सिर्फ क्रियान्वयन किया है।’’

भाषा हक हक नरेश

नरेश