अदालत ने नाल्को के पूर्व सीएमडी, पत्नी और दो अन्य को धन शोधन का दोषी ठहराया

अदालत ने नाल्को के पूर्व सीएमडी, पत्नी और दो अन्य को धन शोधन का दोषी ठहराया

  •  
  • Publish Date - July 21, 2025 / 07:44 PM IST,
    Updated On - July 21, 2025 / 07:44 PM IST

नयी दिल्ली, 21 जुलाई (भाषा) दिल्ली की एक विशेष अदालत ने नवरत्न कंपनी, नेशनल एल्युमिनियम कंपनी लिमिटेड (नाल्को) के पूर्व अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक (सीएमडी) अभय कुमार श्रीवास्तव, उनकी पत्नी और दो अन्य को 2010 में कंपनी द्वारा जारी कोयला आपूर्ति निविदा से जुड़े रिश्वतखोरी के एक मामले में धन शोधन निरोधक कानून के तहत सोमवार को दोषी ठहराया।

विशेष न्यायाधीश (भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम) शैलेन्द्र मलिक की अदालत ने श्रीवास्तव, उनकी पत्नी चांदनी श्रीवास्तव, उनके मित्र भूषण लाल (बी एल) बजाज और बजाज की पत्नी अनीता बजाज को धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) की धारा 3 एवं धारा 4 के तहत दोषी करार दिया।

सजा जल्द ही सुनाए जाने की संभावना है।

पीएमएलए में अधिकतम सात साल की जेल की सजा का प्रावधान है। इसके अलावा जांच के दौरान प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) द्वारा कुर्क की गई संपत्ति को भी जब्त किया जा सकता है।

मार्च 2014 में ईडी द्वारा दर्ज किया गया धन शोधन का मामला फरवरी 2011 में केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की प्राथमिकी पर आधारित है। सीबीआई ने श्रीवास्तव और कुछ अन्य के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की थी।

नाल्को के पूर्व सीएमडी के खिलाफ मामला ओडिशा के अंगुल स्थित उसके कैप्टिव पावर प्लांट से दो लाख टन ‘वाश कोल’ की खरीद से संबंधित एक निविदा के संबंध में कथित रिश्वत के आदान-प्रदान से संबंधित है।

जांच एजेंसियों ने श्रीवास्तव पर आरोप लगाया था कि उन्होंने इस निविदा के लिए अपने दोस्त और राष्ट्रीय ताप विद्युत निगम (एनटीपीसी) में पूर्व सहयोगी बी एल बजाज के माध्यम से रिश्वत ली थी।

श्रीवास्तव की पत्नी चांदनी पर आरोप था कि उन्होंने बजाज की पत्नी अनीता होने का दिखावा करके दिल्ली के एक बैंक लॉकर में सोना और अन्य आभूषण रखे थे।

ईडी ने कहा था, ‘बी एल बजाज ने भाटिया ग्रुप ऑफ कंपनीज के जी एस भाटिया से अनुचित आधिकारिक लाभ पहुंचाने के बदले में रिश्वत लेने के लिए मध्यस्थ के रूप में काम किया। चांदनी श्रीवास्तव ने जाली पहचान दस्तावेजों और अनीता बजाज के जाली हस्ताक्षरों का इस्तेमाल करके बैंक खाता और लॉकर खोलने के लिए उनके नाम का इस्तेमाल किया।’

भाषा आशीष नरेश

नरेश