Chhattisgarh News । Image Source- File Photo
नई दिल्लीः HMPV Virus in Maharashtra चीन में कोरोना के बाद तबाही मचा रहे HMPV (ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस) की अब भारत में एंट्री हो चुकी है। देश के अलग-अलग हिस्सों से एक के बाद एक कई मरीज सामने आएं हैं। महाराष्ट्र के नागपुर में भी HMPV वायरस के 2 संदिग्ध मरीज मिले हैं। इससे पहले कर्नाटक में 2, गुजरात में 1, पश्चिम बंगाल में 1 और तमिलनाडु में दो मामले सामने आए थे।
HMPV Virus in Maharashtra मिली जानकारी के अनुसार नागपुर के रामदासपेठ स्थित प्राइवेट हॉस्पिटल में दो बच्चों को खांसी और बुखार के चलते इलाज के लिए हॉस्पिटल लाया था। नागपुर में 3 जनवरी को निजी अस्पताल में 7 साल के बच्चे और 14 साल की बच्ची की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। इन दोनों बच्चों को खांसी और बुखार था। महाराष्ट्र सरकार की स्वास्थ विभाग टीम वायरस को लेकर अलर्ट मोड पर है। खांसी, बुखार और सारी नाम की बिमारी के मरीजों को विशेष ध्यान देने के लिए कहा गया है। सरकार ने लोगो से अपील की है कि वो घबराए नहीं। स्वास्थ्य विभाग की तरफ से इस वायरस के संबंध में जल्द ही गाईडलाइंस जारी की जाने वाली है।
आप या आपके बच्चे को तेज़ बुखार (103 डिग्री फ़ारेनहाइट/40 डिग्री सेल्सियस से अधिक), सांस लेने में दिक्क्त, त्वचा, होंठ या नाखून का नीला पड़ना (सायनोसिस) जैसे लक्षण दिख रहे हैं तो तुरंत HMPV की जांच कराएं। आमतौर पर आपके लक्षणों और मेडिकल हिस्ट्री के आधार पर HMPV का टेस्ट किया जाता हैं। इसके लिए नाक या गले से सैंपल लिया जाता है।
HMPV वायरस के मामले भारत के विभिन्न हिस्सों में सामने आ रहे हैं, जैसे कि महाराष्ट्र (नागपुर), कर्नाटक, गुजरात, पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु में।
HMPV वायरस के प्रमुख लक्षणों में तेज़ बुखार, खांसी, सांस लेने में दिक्कत, और त्वचा, होंठ या नाखून का नीला पड़ना (सायनोसिस) शामिल हो सकते हैं।
HMPV वायरस से बचाव के लिए नियमित हाथ धोना, मास्क पहनना, और वायरस के लक्षण दिखने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
हां, HMPV वायरस का इलाज संभव है, लेकिन इलाज के लिए डॉक्टर द्वारा लक्षणों के आधार पर निदान और उपचार किया जाता है। यदि लक्षण गंभीर होते हैं तो अस्पताल में भर्ती किया जा सकता है।
HMPV वायरस का टेस्ट नाक या गले के सैंपल से किया जाता है, जिसे प्रयोगशाला में जांच के लिए भेजा जाता है।