मुंबई। Ravindra Jain Birth Anniversary : भारत के संस्कार की चर्चा दुनियाभर में होती है। हर कोई भारत की संस्कृति और परंपरा का सम्मान करता है। भारत में सबसे प्रचलित महाकाव्य ‘रामायण’ है। हर कोई रामायण के हर भाग से भली-भांति अवगत है। भारत में रामायण की बात करते ही मन में सबसे पहले रामानंद सागर की रामायण की तस्वीर सामने आती है। रामानंद सागर में जो मधुर आवाज आपने सुनी है वह रविंद्र जैन की है।
दरअसल, मशहूर संगीतकार रवीन्द्र जैन का मुंबई में 71 साल की उम्र में साल 2015 में निधन हो गया था। बता दें कि रवीन्द्र जैन बचपन से ही नेत्रहीन थे। लेकिन संगीत के प्रति उनका खास लगाव था। रविंद्र जैन ने 1972 में अपने फिल्मी करियर की शुरुआत की थी। उन्होंने न सिर्फ अच्छा गाया बल्कि एक से बढ़कर एक संगीत भी दिया। इतना ही नहीं रविंद्र नाथ ने बॉलीवुड के कई प्रसिद्ध गीत लिखे हैं। वे उन संगीतकारों में रहे हैं, जिन्होंने कविता, शायरी और गीत की समझ को समेटते हुए लीक से हटकर कुछ गंभीर तरह का काम किया है।
बात करें उनके जीवनकाल की तो रवीन्द्र जैन ने बचपन में संगीत की बारीकियां पंडित घंमडी लाल, पंडित जनार्दन शर्मा और पंडित नाथूराम शर्मा से सीखी थीं और बाकायदा प्रयाग संगीत समिति से शास्त्रीय संगीत की दीक्षा ली थी। साल 1969 में रवीन्द्र जैन मुंबई पहुंचे। राधेश्याम झुनझुनवाला अपनी एक फिल्म में उनका संगीत चाहते थे। 1971 में रवीन्द्र जैन के संगीत निर्देशन में पहली बार पांच गाने रिकॉर्ड हुए।
Ravindra Jain Birth Anniversary : आपको बता दें कि 1972 में कांच और हीरा की असफलता के बाद उन्होंने फिल्म चोर मचाए शोर, चितचोर, तपस्या, दुल्हन वही जो पिया मन भाए, अंखियों के झरोखों से, राम तेरी गंगा मैली, हिना, इंसाफ का तराजू, प्रतिशोध जैसी कई फिल्मों में संगीत दिया। इतना ही नहीं फिल्मों के अलावा रवीन्द्र जैन ने टीवी की दुनिया का मशहूर पौराणिक सीरियल रामायण का भी संगीत दिया था। इसके साथ कई चौपाईयों को उन्होंने अपनी आवाज दी थी।