नयी दिल्ली, 30 जुलाई (भाषा) निर्यातकों ने बुधवार को कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा एक अगस्त से भारत पर 25 प्रतिशत शुल्क और जुर्माना लगाने की घोषणा देश के निर्यात के लिए एक बड़ा झटका है और इससे अनिश्चितता की एक नई परत जुड़ जाएगी।
उन्होंने कहा कि जुर्माने के दायरे पर स्पष्टता के अभाव में, भारतीय निर्यातक और अमेरिकी आयातक न तो सही आकलन कर पा रहे हैं और न ही बढ़े हुए शुल्क के बोझ को झेलने की योजना बना पा रहे हैं।
कामा ज्वेलरी के प्रबंध निदेशक (एमडी) कॉलिन शाह ने कहा, “ट्रंप की यह घोषणा…भारत के लिए एक बड़ा झटका है। अमेरिका भारत के प्रमुख निर्यात गंतव्यों में से एक है, इसलिए इसका रत्न और आभूषण जैसे क्षेत्रों पर गहरा असर पड़ेगा, जो निर्यात पर बहुत अधिक निर्भर हैं और देश की अर्थव्यवस्था में सबसे बड़ा योगदान देने वाले क्षेत्रों में से एक हैं।”
भारत का घरेलू रत्न एवं आभूषण उद्योग पहले से ही रूस-यूक्रेन और पश्चिम एशिया में लगभग दो वर्षों से चल रहे भू-राजनीतिक तनाव का खामियाजा भुगत रहा है।
उन्होंने कहा, “भविष्य में आशंका है कि अमेरिका के साथ व्यापारिक गतिविधियां धीमी रहेंगी।”
अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप ने बुधवार को घोषणा की कि एक अगस्त से भारत से आने वाले सभी सामान पर 25 प्रतिशत शुल्क लगाया जाएगा। उन्होंने कहा कि इसके साथ ही रूस से सैन्य उपकरण और कच्चा तेल खरीदने पर जुर्माना भी लगाया जाएगा।
मुंबई स्थित निर्यातक और टेक्नोक्राफ्ट इंडस्ट्रीज इंडिया के संस्थापक चेयरमैन शरद कुमार सराफ ने कहा कि इस घोषणा से और अनिश्चितता पैदा होगी।
उन्होंने कहा, “हमें इन शुल्कों में स्थिरता की जरूरत है।”
वाणिज्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, जून में अमेरिका को भारत का माल निर्यात 23.53 प्रतिशत बढ़कर 8.3 अरब डॉलर हो गया, जबकि आयात 10.61 प्रतिशत घटकर लगभग चार अरब डॉलर रह गया।
आंकड़ों के अनुसार, अप्रैल-जून के दौरान अमेरिका को देश का निर्यात 22.18 प्रतिशत बढ़कर 25.51 अरब डॉलर हो गया, जबकि आयात 11.68 प्रतिशत बढ़कर 12.86 अरब डॉलर हो गया।
चालू वित्त वर्ष (2025-26) की जून तिमाही में अमेरिका, भारत का सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार था।
भारत और अमेरिका एक द्विपक्षीय व्यापार समझौते पर बातचीत कर रहे हैं। इस समझौते के लिए छठे दौर की वार्ता के लिए अमेरिकी टीम अगस्त में भारत आ रही है।
भाषा अनुराग अजय
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