1 अप्रैल 2019 से खत्म हो जाएगा इन दो बैंकों का अस्तित्व, अब बैंक ऑफ बड़ौदा होगा देश का तीसरा सबसे बड़ा बैंक

1 अप्रैल 2019 से खत्म हो जाएगा इन दो बैंकों का अस्तित्व, अब बैंक ऑफ बड़ौदा होगा देश का तीसरा सबसे बड़ा बैंक

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  • Publish Date - March 31, 2019 / 03:50 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:59 PM IST

नई दिल्ली: वित्तीय वर्ष की समाप्ती के साथ ही देश में दो सरकारी बैंकों विजया बैंक और देना बैंक का अस्तित्व भी खत्म हो जाएगा। इन दोनों बैकों का 1 अप्रैल 2019 से बैंक ऑफ बड़ौदा में विलय हो जाएगा। इसके साथ ही भारतीय स्टेट बैंक और आईसीआईसीआई बैंक के बाद बैंक ऑफ बड़ौदा देश का तीसरा सबसे बड़ा बैंक बन जाएगा। विलय के बाद संयुक्त निकाय का कारोबार 14.82 लाख करोड़ रुपए का होगा।

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रिजर्व बैंक ने शनिवार को एक बयान में कहा है कि विजया बैंक और देना बैंक के उपभोक्ताओं को एक अप्रैल से बैंक ऑफ बड़ौदा का उपभोक्ता माना जाएगा। केंद्र सरकार ने पिछले सप्ताह निर्णय लिया था कि अतिरिक्त खर्च की भरपाई के लिए बैंक ऑफ बड़ौदा को 5,042 रूपए दिया जाएगा। विलय की योजना के तहत विजया बैंक के शेयर धारकों को प्रत्येक एक हजार शेयरों के बदले बैंक ऑफ बड़ौदा के 402 शेयर मिलेंगे। देना बैंक के शेयरधारकों को उनके प्रत्येक एक हजार शेयर के बदले बैंक ऑफ बड़ौदा के 110 शेयर मिलेंगे।

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विजया बैंक और देना बैंक का बैंक आफ बड़ौदा में विलय करने के साथ ही सरकारी क्षेत्र के आईडीबीआई बैंक में सरकार की 51 प्रतिशत हिस्सेदारी को भारतीय जीवन बीमा निगम को हस्तांतरित कर दिया गया।

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