नई दिल्ली । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम से ‘मैं भी चौकीदार’ अभियान के तहत समर्थकों को संबोधित किया। पीएम मोदी ने देश के अलग-अलग शहरों में संवाद के लिए बनाए गए 500 बूथ में मौजूद कार्यकर्ताओं के सवालों के जवाब भी दिए। बूथों पर भाजपा के वरिष्ठ नेता, पदाधिकारी और केंद्रीय मंत्री मौजूद रहे।
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‘मैं भी चौकीदार’ अभियान के दौरान मोदी ने कांग्रेस पर तंज कसा। मोदी ने कहा, ”2014 चुनाव के दौरान मैंने लोगों से कहा था कि आप दिल्ली का जो दायित्व मुझे दे रहे हैं मतलब आप एक चौकीदार बैठा रहे हैं। देश का सामान्य आदमी टैक्स देता है। अलग-अलग प्रकार से धनराशि देता है और इस पर देश के गरीबों का हक होता है। मैं कभी भी इस पैसे पर कोई पंजा नहीं पड़ने दूंगा।”
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चौकीदार किसी पहचान का मोहताज नहीं
पीएम मोदी ने कहा, ”चुनाव की गर्माहट में यह एक ऐसा मौका है, जिस पर सबकी निगाहें होना स्वाभाविक है। 2013-14 में जब लोकसभा का चुनाव चल रहा था, मैं देश के लिए नया था। ज्यादातर मेरे आलोचकों ने मेरी प्रसिद्धि ज्यादा की थी। मैं उनका तहे दिल से आभार व्यक्त करता हूं। क्योंकि उन्हीं के कारण मेरे लिए देश में जिज्ञासा पैदा हुई थी कि आखिर यह इंसान है कौन।’ ‘एक चौकीदार के तौर पर मैं अपनी जिम्मेदारी निभाऊंगा। लेकिन कुछ लोगों की बौद्धिक मर्यादाएं रहती हैं उनकी सोच भी बड़ी मर्यादित होती है। इसलिए उनके मन में चौकीदार की सोच पारंपरिक होती है। यह उनकी मर्यादित सोच का परिणाम है’ । ‘चौकीदार की न कोई व्यवस्था है। चौकीदार न किसी यूनिफॉर्म की पहचान है। चौकीदार किसी चौखट में भी नहीं बंधा है। चौकीदार एक स्पिरिट है, एक भावना है। गांधीजी कहते थे कि जो भी हमें दायित्व मिला है। जिन चीजों को हम संभालते हैं। चाहे वो समय हो या व्यवस्था हो। हमें एक ट्रस्टी के तौर पर इस्तेमाल करना चाहिए। हमें उन्हें संभालना चाहिए’
मोदी ने दिए ‘चौकीदारों’ के जवाब
मुंबई के अजय दवे की ओर से बालाकोट स्ट्राइक को लेकर फैसला लेने के रिस्क पर पूछे गए सवाल के जवाब में पीएम मोदी ने कहा कि यदि मोदी अपने राजनीतिक भविष्य का सोचता तो फिर वह मोदी नहीं होता। यही नहीं, अरुणाचल की एक छात्रा के सवाल के जवाब में पीएम मोदी ने एक बार फिर सरकार बनने की स्थिति में अपने 5 साल की योजनाओं का ब्योरा दिया।
पीएम मोदी ने कहा, ‘बालाकोट मैंने नहीं बल्कि देश के जवानों ने किया है। हम सभी की तरफ से उनको सैल्यूट। जहां तक निर्णय का सवाल है तो यदि मोदी अपने राजनीतिक भविष्य का सोचता तो फिर वह मोदी नहीं होता। अगर यही राजनीतिक पैंतरेबाजी से देश चलाना होता और नफा-नुकसान जोड़कर देश चलाना होता तो मोदी के पीएम बनने की कोई जरूरत नहीं थी। मेरे लिए देश सबसे ऊपर है।’
आगरा के राजेश वाल्मीकि की ओर से कांग्रेस को लेकर पूछे सवाल के जवाब में पीएम मोदी ने कहा, ‘उनके झूठ को समझना होगा। उनका झूठ बहुत सीजनल होता है, जैसे पटाखे और पतंग का सीजन आता है। एक बार चुनाव से पहले उन्होंने असहिष्णुता का मुद्दा उठाया। चुनाव खत्म हुआ तो यह भी खत्म। फिर बिहार चुनाव से पहले आरक्षण और संविधान खत्म करने की बात कही।’
पीएम मोदी ने कहा कि ‘मैं भी चौकीदार’ महात्मा गांधी के ट्रस्ट्रीशिप के सिद्धांत पर आधारित है। पीएम मोदी ने कहा कि पढ़े-लिखे, अनपढ़, किसान, कामगार, नौकरीपेशा से लेकर देश का हर आदमी चौकीदार है। अब हर शख्स चौकीदार है तो फिर चोर कहां बचेंगे? जनता मेरे साथ है और मुझे पता है कि देश की जनता को राजा-महाराजाओं की जरूरत नहीं है, वह चौकीदार पसंद करती है। मुझे खुशी है कि चौकीदार के भाव का निरंतर विस्तार हो रहा है।