Chhattisgarh News: ISIS से जुड़े छत्तीसगढ़ के दो नाबालिग, कर रहे थे ये खतरनाक काम, गृहमंत्री ने दी खुली चेतावनी…

छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर से एक गंभीर सुरक्षा मामला सामने आया है, जहां आतंकवाद निरोधी दस्ता (एटीएस) ने दो नाबालिग किशोरों को आईएसआईएस से जुड़े होने के आरोप में हिरासत में लिया है।

  •  
  • Publish Date - November 19, 2025 / 05:05 PM IST,
    Updated On - November 19, 2025 / 05:06 PM IST

CHHATTISGARH NEWS

HIGHLIGHTS
  • रायपुर में एटीएस ने दो नाबालिगों को आईएसआईएस ऑनलाइन मॉड्यूल से जुड़े होने पर पकड़ा।
  • फर्जी सोशल मीडिया अकाउंट से कट्टरपंथी सामग्री फैलाने के आरोप।
  • दोनों पर यूएपीए के तहत मामला दर्ज।

Chhattisgarh News: रायपुर: छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर से एक गंभीर सुरक्षा मामला सामने आया है, जहां आतंकवाद निरोधी दस्ता (एटीएस) ने दो नाबालिग किशोरों को आईएसआईएस के ऑनलाइन मॉड्यूल से जुड़े होने के आरोप में हिरासत में लिया है। दोनों पर गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम, यूएपीए के तहत मामला दर्ज किया गया है।

गृह मंत्री विजय शर्मा का बयान आया सामने

Chhattisgarh News: राज्य के गृह मंत्री विजय शर्मा ने इस कार्रवाई की पुष्टि करते हुए बताया कि यह ऑपरेशन एटीएस की बड़ी सफलता है। उन्होंने कहा कि दोनों नाबालिग पाकिस्तान में संचालित एक ऑनलाइन मॉड्यूल से सीधे निर्देश प्राप्त कर रहे थे। मंत्री के अनुसार, दोनों सोशल मीडिया पर काफी सक्रिय थे और फर्जी पहचान का उपयोग कर भारत-विरोधी संदेशों को फैलाने का प्रयास कर रहे थे। उन्होंने कहा कि शुरुआती जांच में यह स्पष्ट हुआ कि दोनों की गतिविधियां राष्ट्रविरोधी थीं, जिसके बाद ही उन पर यूएपीए के तहत कड़ा मामला दर्ज किया गया। गृह मंत्री ने यह भी संकेत दिया कि रायपुर सहित छत्तीसगढ़ के अन्य बड़े शहरों में भी ऐसे नेटवर्क की तलाश जारी है और आने वाले दिनों में कई और कार्रवाई हो सकती है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ की शांति और सुरक्षा के खिलाफ काम करने वालों पर कड़ी, तीव्र और बिना किसी रियायत के कार्रवाई जारी रहेगी।

फर्जी सोशल मीडिया अकाउंट्स का इस्तेमाल कर रहे थे नाबालिग

मिली जानकारी के अनुसार, दोनों नाबालिग फर्जी सोशल मीडिया अकाउंट्स, विशेषकर इंस्टाग्राम का इस्तेमाल करके कट्टरपंथी विचारधारा फैलाने और अन्य युवाओं को उसकी ओर आकर्षित करने की कोशिश कर रहे थे। एटीएस को इनकी गतिविधियों की भनक तब लगी जब पुलिस को सोशल मीडिया पर इनके द्वारा किए गए भड़काऊ और संदिग्ध पोस्ट मिले। इसके बाद इनकी ऑनलाइन गतिविधियों पर गुप्त नजर रखी गई और दोनों को हिरासत में लिया गया।

महाराष्ट्र से भी ऐसा ही मामला आया था सामने

यह मामला तब और गंभीर लगता है जब इसे महाराष्ट्र एटीएस की हालिया कार्रवाई से जोड़कर देखा जाए। कुछ सप्ताह पहले पुणे से 37 वर्षीय सॉफ्टवेयर इंजीनियर ज़ुबैर हंगरगेकर को गिरफ्तार किया गया था, जो सोशल मीडिया के ज़रिए अल-कायदा जैसे आतंकी संगठन की विचारधारा फैला रहा था।

लाल किले के पास बिस्फोट के बाद एजेंसियां सक्रिय

Chhattisgarh News: देश में सुरक्षा एजेंसियां पहले ही हाई अलर्ट पर हैं क्योंकि 10 नवंबर को लाल किले के पास एक कार में विस्फोट हुआ था, जिसे केंद्र सरकार ने आतंकवादी घटना बताया। इस मामले के बाद सोशल मीडिया की निगरानी भी कई गुना बढ़ा दी गई है। बीते दिनों असम पुलिस ने एक सेवानिवृत्त प्रिंसिपल को भी गिरफ्तार किया था, जिन्होंने सोशल मीडिया पर दिल्ली विस्फोट को चुनावों से जोड़कर टिप्पणी की थी। इन घटनाओं ने साफ कर दिया है कि आतंकवादी संगठन सोशल मीडिया के ज़रिए युवाओं को टारगेट कर रहे हैं, और सुरक्षा एजेंसियों के सामने यह एक नई चुनौती बनकर उभरा है।

इन्हें भी पढ़ें :- 

रायपुर में किस मामले में नाबालिगों को पकड़ा गया?

दोनों नाबालिगों को आईएसआईएस के ऑनलाइन मॉड्यूल से जुड़े होने और कट्टरपंथी सामग्री फैलाने के आरोप में हिरासत में लिया गया है।

उनके खिलाफ कौन-सा कानून लगाया गया है?

दोनों पर गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम — UAPA के तहत मामला दर्ज किया गया है।

नाबालिग किस माध्यम से कट्टरपंथ फैलाते थे?

वे फर्जी इंस्टाग्राम और अन्य सोशल मीडिया हैंडल का उपयोग कर लोगों को प्रभावित करने की कोशिश करते थे।