(तस्वीर के साथ)
गुवाहाटी, 30 दिसंबर (भाषा) बांग्लादेश स्थित कट्टरपंथी संगठनों से कथित संबंधों को लेकर असम और त्रिपुरा में 11 लोगों को गिरफ्तार किया गया। गिरफ्तार किए गए लोगों का मकसद पूर्वोत्तर में अस्थिरता फैलाना था। असम पुलिस ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
गुवाहाटी के पुलिस आयुक्त पार्थसारथी महंत ने प्रेसवार्ता में बताया कि विशेष कार्य बल (एसटीएफ) ने केंद्रीय एजेंसियों से प्राप्त खुफिया जानकारी के आधार पर ये गिरफ्तारियां कीं।
उन्होंने बताया, “कल (सोमवार) रात असम के बारपेटा, चिरांग और दरांग जिलों के साथ-साथ त्रिपुरा में भी एक अभियान चलाया गया। हमने कुल 11 जिहादी तत्वों को गिरफ्तार किया है जो बांग्लादेश स्थित संगठनों के सीधे आदेशों पर काम कर रहे थे।”
पुलिस आयुक्त ने बताया कि गिरफ्तार किए गए लोग इमाम महमूदर काफिला (आईएमके) मॉड्यूल के सदस्य थे।
उन्होंने दावा किया, “इनमें से 10 को असम से और एक को त्रिपुरा से पकड़ा गया। इनका मुख्य उद्देश्य असम और पूर्वोत्तर के बाकी हिस्सों में अस्थिरता फैलाना था। वे देश के इस हिस्से में ‘मुस्लिम वर्चस्व’ स्थापित करना चाहते थे।”
महंत ने बताया कि पुलिस दलों ने एक साथ की गयी छापेमारी के दौरान भारी मात्रा में सामान जब्त किया लेकिन उनमें हथियार और गोला-बारूद शामिल नहीं है।
उन्होंने बताया कि असम से गिरफ्तार किए गए लोगों की पहचान नसीम उद्दीन उर्फ नजीमुद्दीन उर्फ तमीम (24), जुनाब अली (38), अफराहिम हुसैन (24), मिजानुर रहमान (46), सुल्तान महमूद (40), मोहम्मद सिद्दीक अली (46), रशीदुल आलम (28), महिबुल खान (25), शाहरुख हुसैन (22) और मोहम्मद दिलबर रजाक (26) के रूप में हुई है।
पुलिस आयुक्त ने बताया कि त्रिपुरा से जागीर मियां (33) को पकड़ा गया।
उन्होंने बताया, “भारतीय सुरक्षा और खुफिया एजेंसियां पूर्वोत्तर, विशेषकर असम में जिहादी गतिविधियों पर कड़ी नजर रख रही हैं।”
उन्होंने बताया कि आईएमके, बांग्लादेश स्थित जमात-उल-मुजाहिदीन बांग्लादेश (जेएमबी) की एक शाखा है, जो भारत में प्रतिबंधित है।
अधिकारी ने बताया, “आईएमके की स्थापना 2018 में जेएमबी के पूर्व सदस्य ज्वेल महमूद उर्फ इमाम महमूद हबीबुल्ला उर्फ सोहेल ने की थी, जो खुद को आईएमके का आमिर बताता है और ‘गजवतुल हिंद’ की विचारधारा का प्रचार करता है।”
पुलिस आयुक्त ने बताया, “विश्वसनीय सूत्रों से पता चला कि अगस्त 2024 में बांग्लादेश में सत्ता परिवर्तन के बाद, जेएमबी, अंसारुल्ला बांग्ला टीम (एबीटी) और अल-कायदा इन द इंडियन सबकॉन्टिनेंट (एक्यूआईएस) के वरिष्ठ नेताओं ने आईएमके नेतृत्व को अपने भारतीय मॉड्यूल को सक्रिय और विस्तारित करने के निर्देश दिए थे।”
महंत ने बताया कि बांग्लादेशी नागरिकों– उमर और खालिद को असम के स्लीपर सेल के साथ समन्वय करने का काम सौंपा गया था, जिसका प्रमुख बरपेटा रोड निवासी तमीम था।
उन्होंने बताया, “गतिविधियों का समन्वय सुरक्षित सोशल मीडिया मंच के माध्यम से किया जाता है। ऐसा ही एक समूह ‘पूर्व आकाश’ है, जो मुख्य संचार एवं भर्ती मंच के रूप में कार्य करता है। असम, पश्चिम बंगाल और त्रिपुरा में रहने वाले लोगों को कट्टरपंथी बनाया जा रहा था, उनकी भर्ती की जा रही थी, उन्हें आर्थिक सहायता दी जा रही थी और उन्हें संगठन से जोड़ा जा रहा था।”
महंत ने दावा किया कि जिन लोगों को निशाना बनाया गया, उनमें भारतीय पासपोर्ट धारक वे लोग भी शामिल थे जो बांग्लादेश जा चुके थे, साथ ही प्रतिबंधित समूहों के पूर्व सदस्य भी शामिल थे।
उन्होंने कहा, “आईएमके की गतिविधियां भारत की एकता और अखंडता के लिए गंभीर खतरा पैदा करती हैं। आईएमके बांग्लादेश स्थित अपने संरक्षकों के साथ सक्रिय सीमा पार संबंध बनाए रखता है। 2024 में हसीना सरकार के सत्ता से बेदखल होने के बाद, आईएमके के आमिर को हिरासत से रिहा कर दिया गया था।”
उन्होंने कहा कि उसकी रिहाई के बाद, संगठन की भर्ती और लामबंदी गतिविधियां तेज हो गईं तथा असम, त्रिपुरा और पश्चिम बंगाल के कुछ हिस्सों में कई बैठकें की गईं।
पुलिस आयुक्त ने कहा, ‘‘…यह पाया गया कि बांग्लादेश में सरकार परिवर्तन के बाद, जेएमबी, एबीटी और एक्वीआईएस के कार्यकर्ताओं को रिहा कर दिया गया या उनका मनोबल काफी बढ़ गया।’’
उन्होंने कहा कि इसके फलस्वरूप उनके वैचारिक प्रभाव और भारतीय नेटवर्क का पुनरुद्धार हुआ है, जिसमें आईएमके से जुड़े मंच भी शामिल हैं, वे हिंसक जिहाद और भारत पर सशस्त्र विजय की वकालत करने वाली चरमपंथी बातों का प्रचार करते हैं।
पुलिस आयुक्त ने आईएमके के वित्तपोषण पैटर्न के बारे में बताया कि आईएमके का ऑपरेशन हवाला और छोटे खातों के लेन-देन के ज़रिए चलता है।
उन्होंने कहा, ‘‘नए सदस्य और स्थानीय समर्थक नकद दान देते हैं। इकट्ठा की गई धनराशि हवाला नेटवर्क के ज़रिए नियमित रूप से बांग्लादेश भेजी जाती है। फंडिंग के लिए कई बैंक खातों का इस्तेमाल किया जाता है।’’
भाषा राजकुमार नरेश
नरेश