नयी दिल्ली, 18 जनवरी (भाषा) केंद्र सरकार की एक योजना के तहत बिजली क्षेत्र के लिए अतिरिक्त कर्ज प्राप्त करने के लिए कम से कम 20 राज्यों ने रुचि दिखाई है।
इस योजना के तहत फिलहाल हालांकि केवल आंध्र प्रदेश ही 2,100 करोड़ रुपये जुटाने में सफल रहा है। एक आधिकारिक विज्ञप्ति में यह जानकारी दी गई।
वित्त मंत्रालय ने जून, 2021 में राज्यों को 80,000 करोड़ रुपये के अतिरिक्त कर्ज की गुंजाइश की अनुमति देने के लिए एक कार्यक्रम शुरू किया था।
बिजली मंत्रालय के लिए आरईसी लिमिटेड योजना के कार्यान्वयन को नोडल एजेंसी के रूप में काम कर रही है।
बिजली मंत्रालय की तरफ से मंगलवार को जारी एक बयान में कहा गया, ‘‘चालू वित्त वर्ष 2021-22 में लगभग 20 राज्यों ने पहले ही योजना के तहत लाभ लेने में रुचि दिखाई है।’’
मंत्रालय ने कहा, ‘‘आंध्र प्रदेश से इस तरह के प्रस्ताव के संबंध में विद्युत मंत्रालय की सिफारिशों के आधार पर वित्त मंत्रालय ने अपनी मंजूरी दे दी है। आंध्र प्रदेश ने पहले ही 2,100 करोड़ रुपये से अधिक का कर्ज जुटाया है।’’
विज्ञप्ति के अनुसार, मणिपुर और राजस्थान के प्रस्ताव भी वित्त मंत्रालय के पास विचाराधीन हैं। बाकी राज्य भी अपने प्रस्ताव जमा कर रहे हैं।
इस कार्यक्रम के तहत बिजली क्षेत्र में सुधार के लिए दी जानी वाली अतिरिक्त कर्ज सीमा संबंधित राज्य के सकल राज्य घरेलू उत्पाद (जीएसडीपी) का 0.5 प्रतिशत है।
भाषा जतिन अजय
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