चालू वित्त वर्ष में अबतक जीईएम मंच से खरीद का आंकड़ा चार लाख करोड़ रुपये के पार हुआ |

चालू वित्त वर्ष में अबतक जीईएम मंच से खरीद का आंकड़ा चार लाख करोड़ रुपये के पार हुआ

चालू वित्त वर्ष में अबतक जीईएम मंच से खरीद का आंकड़ा चार लाख करोड़ रुपये के पार हुआ

:   Modified Date:  March 29, 2024 / 06:00 PM IST, Published Date : March 29, 2024/6:00 pm IST

नयी दिल्ली, 29 मार्च (भाषा) देश के विभिन्न मंत्रालयों और विभागों की अधिक खरीद गतिविधियों से चालू वित्त वर्ष में अबतक सरकारी मंच जीईएम के जरिये वस्तुओं तथा सेवाओं की खरीद चार लाख करोड़ रुपये के पार पहुंच गई है। एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने शुक्रवार को यह जानकारी दी।

केंद्र सरकार के सभी मंत्रालयों तथा विभागों द्वारा वस्तुओं व सेवाओं की ऑनलाइन खरीद के लिए सरकारी ई-मार्केट (जीईएम) मंच की शुरुआत नौ अगस्त, 2016 को की गई थी।

जीईएम के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) पी. के. सिंह ने पत्रकारों से कहा, ‘‘ 28 मार्च तक खरीद चार लाख करोड़ रुपये को पार कर गई। यह ऐतिहासिक है। ’’

उन्होंने कहा कि रक्षा क्षेत्र के खरीदार इस मंच से कई सामान और सेवाएं खरीद रहे हैं।

वित्त वर्ष 2021-22 में खरीद मूल्य 1.06 लाख करोड़ रुपये था और पिछले वित्त वर्ष में यह दो लाख करोड़ रुपये को पार कर गया था।

उन्होंने कहा कि मंच से सेवाओं की खरीद वित्त वर्ष 2022-23 में 66,000 करोड़ रुपये से बढ़कर चालू वित्त वर्ष में अबतक 2.05 लाख करोड़ रुपये हो गई है। इसी तरह चालू वित्त वर्ष में 28 मार्च तक मंच से 1.95 लाख करोड़ रुपये की वस्तुएं खरीदी गईं।’’

बड़े पैमाने पर उपभोक्ताओं के लिए मंच खोलने की संभावना के बारे में सिंह ने कहा कि यह पूरी तरह से एक बहुत अलग परिवेश तंत्र है।

उन्होंने कहा, ‘‘ हम इसपर विचार-विमर्श कर रहे हैं, हम इसकी तैयारी कर रहे हैं। यदि सरकार चाहे तो हमें इसके लिए तैयार रहना चाहिए। यदि संभव हो, यदि व्यावहारिक हो, तो हम आने वाले वर्षों में इस क्षेत्र में भी एक छोटा शुरुआती कार्य करेंगे, यदि मंजूरी मिल जाती है।’’

उन्होंने बताया कि अफ्रीका और दक्षिण पूर्व एशिया के कई देश भी जीईएम में दिलचस्पी दिखा रहे हैं।

वर्तमान में सरकारी विभागों, मंत्रालयों, सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयों, राज्य सरकारों तथा केंद्रीय सशस्त्र पुलिस बलों को इस मंच के जरिये लेनदेन करने की अनुमति है।

दुनियाभर में इस तरह के मंचों की सूची में दक्षिण कोरिया का केओएनईपीएस शीर्ष पर है। इसके बाद दूसरे नंबर में सिंगापुर का जीईबीआईजेड और फिर जीईएम तीसरे स्थान पर है।

भाषा निहारिका अजय

अजय

 

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