भाजपा के नारीशक्ति के नारे खोखले साबित हुए: कांग्रेस |

भाजपा के नारीशक्ति के नारे खोखले साबित हुए: कांग्रेस

भाजपा के नारीशक्ति के नारे खोखले साबित हुए: कांग्रेस

:   Modified Date:  March 25, 2024 / 06:44 PM IST, Published Date : March 25, 2024/6:44 pm IST

नयी दिल्ली, 25 मार्च (भाषा) कांग्रेस ने सोमवार को आरोप लगाया कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नारीशक्ति के नारे सिर्फ़ खोखले शब्द बनकर रह गए हैं तथा महिला और बाल विकास मंत्रालय पिछले 10 वर्षों में ‘‘महिला विरोधी मानसिकता’’ का केंद्र बना रहा है।

पार्टी महासचिव जयराम रमेश ने ‘एक्स’ पर पोस्ट कर कहा, ‘‘भाजपा के नारी शक्ति के नारे बिना किसी कार्रवाई के सिर्फ़ खोखले शब्द बनकर रह गए हैं। महिला और बाल विकास मंत्रालय पिछले 10 साल में केवल अक्षमता, बेपरवाही और महिला विरोधी मानसिकता का केंद्र बनकर रह गया है।’’

उन्होंने दावा किया, ‘‘जब देश भर में महिलाओं पर अत्याचार होता है तो महिला और बाल विकास मंत्री चुप रहती हैं। वह सिर्फ़ विपक्ष शासित राज्यों में अपराध होने पर जागती हैं। उनका मंत्रालय आवश्यक योजनाओं और मेहनत करने वाली महिलाओं के लिए फंड्स का इस्तेमाल तक नहीं कर पाता है।’’

रमेश ने कहा, ‘‘ये महिला एवं बाल विकास मंत्रालय की पांच बड़ी विफलताएं हैं- महिलाओं और बच्चों के ख़िलाफ़ अपराध दोगुने हुए, कम होता बजट और फंड का पूरी तरह से इस्तेमाल न होना, आशा और आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं का कम वेतन और उनके साथ दुर्व्यवहार, महिलाओं और बच्चों में एनीमिया का बढ़ना और महिलाओं के बीच बढ़ती बेरोज़गारी और उनकी आय में कमी।’’

उन्होंने दावा किया, ‘‘तस्वीर साफ़ है। वर्तमान मंत्री की उपेक्षा और अक्षमता के कारण पिछले 10 साल भारत में महिलाओं और बच्चों की सुरक्षा और स्वास्थ्य के लिए एक आपदा के समान रहे हैं। अपराध दर और एनीमिया दर बढ़ गई है, बजट कम हो गया है, और महिला स्वास्थ्य कर्मियों को कम वेतन दिया जाता है। वहीं अधिकांश पैसा विज्ञापन पर खर्च किया जाता है। बलात्कारियों को भाजपा में सुरक्षित ठिकाना मिलता है।’’

रमेश ने आरोप लगाया कि उदासीनता, खोखले नारे और गंभीर एवं प्रभावशाली कार्रवाई का अभाव आज इस मंत्रालय के पहचान बन चुके हैं।

उन्होंने महिलाओं के लिए की गई ‘पांच गारंटी’ का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘जून 2024 में कार्यभार संभालने वाली कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार महिलाओं के लिए 10 साल के अन्याय-काल को समाप्त करेगी और भारत में महिला सुरक्षा, समृद्धि और विकास के एक नए युग की शुरुआत करेगी।’’

भाषा हक

हक पवनेश

पवनेश

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)