आरएसएस से जुड़ी संस्था ‘वंशवादी राजनीति से लोकतंत्र के खतरे’ पर सम्मेलन आयोजित करेगी |

आरएसएस से जुड़ी संस्था ‘वंशवादी राजनीति से लोकतंत्र के खतरे’ पर सम्मेलन आयोजित करेगी

आरएसएस से जुड़ी संस्था ‘वंशवादी राजनीति से लोकतंत्र के खतरे’ पर सम्मेलन आयोजित करेगी

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:27 PM IST, Published Date : May 12, 2022/10:00 pm IST

नयी दिल्ली, 12 मई (भाषा) आरएसएस से जुड़ी संस्था रामभाऊ म्हाल्गी प्रबोधिनी 19 मई को ‘वंशवादी राजनीतिक दलों से लोकतांत्रिक शासन को खतरा’ विषय पर एक सम्मेलन आयोजित करेगी । प्रबोधिनी के उपाध्यक्ष एवं भाजपा सांसद विनय सहस्रबुद्धे ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी ।

सहस्रबुद्धे ने कांग्रेस के उदयपुर में होने जा रहे चिंतन शिविर पर तंज करते हुए कहा कि वंशवाद की राजनीति करने वालों को चिंतन की बजाय आत्मचिंतन करने की जरूरत है। उन्होंने राजनीतिक दलों में वंशवाद पर लगाम लगाने के लिए नियामक ढांचे की जरूरत बतायी ।

भाजपा के राज्यसभा सदस्य ने कहा कि इस सम्मेलन का उद्घाटन भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा करेंगे और इसकी अध्यक्षता महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेन्द्र फडणवीस करेंगे ।

उन्होंने कहा, ‘‘सार्वजनिक धर्मार्थ ट्रस्ट के लिए जो नियम है दुर्भाग्यवश हमारे देश के राजनीतिक दलों के लिए नहीं है ।’’

सहस्रबुद्धे ने कहा कि जब वंशवाद आधारित व्यक्ति राज करता है तो वह गैर वंशवादी व्यक्ति से कमतर प्रदर्शन करता है। उन्होंने कहा कि ऐसे व्यक्ति को जो पद मिलता है, वह अनायास ही मिलता है तथा इसके लिए कोई परिश्रम और अनुभव होना आवश्यक नहीं होता है।

उन्होंने कहा कि ऐसी स्थिति जनतांत्रिक शासन व्यवस्था के लिए चिंता का विषय है। उन्होंने कहा, ‘‘दुर्भाग्यवश हम अनेक ऐसे राजनीतिक दल पाते हैं जो घरानों के आधार पर काम करते हैं, उनके यहां आंतरिक चुनाव की कोई स्पष्ट पद्धति नहीं है और न कोई आंतरिक व्यवस्था है।’’

उन्होंने कहा कि परिवार के आधार पर संचालित दल मतदाताओं के ऊपर एक तरह का अन्याय है ।

सहस्रबुद्धे ने कहा कि इस कार्यक्रम में भाजपा के सहयोगी दल जदयू, अन्नाद्रमुक और असम गण परिषद भी शामिल होंगे ।

भाषा दीपक शोभना माधव

माधव

 

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