Gwalior Collector News: ‘सभी पति कुर्सी से उठो और पीछे जाकर बैठ जाओ!’, नवरात्री के पहले दिन कलेक्टर ने बैठक में लगाई क्लास, बोली- पत्नियों को ही काम करने दीजिए

Gwalior Collector News: 'सभी पति कुर्सी से उठो और पीछे जाकर बैठ जाओ!', नवरात्री के पहले दिन कलेक्टर ने बैठक में लगाई क्लास, बोली- पत्नियों को ही काम करने दीजिए

  • Reported By: Nasir Gouri

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  • Publish Date - September 22, 2025 / 07:32 PM IST,
    Updated On - September 22, 2025 / 07:32 PM IST

Gwalior Collector News/Image Source: IBC24

HIGHLIGHTS
  • नवरात्रि पर महिला सशक्तिकरण का संदेश,
  • कलेक्टर ने पुरुष पार्षदों को बैठा दिया पीछे,
  • कलेक्टर ने पति पार्षदों को खरी-खोटी सुनाई,

ग्वालियर: Gwalior News: नवरात्रि के पावन पर्व पर जहाँ पूरे देश में महिलाशक्ति की पूजा-अर्चना हो रही है, वहीं ग्वालियर में ऐसी घटना घटी जिसने प्रशासनिक हलके में हलचल मचा दी। कलेक्टर रूचिका चौहान ने शहर की सड़क समस्याओं पर चर्चा के लिए तीन फेज़ में पार्षदों की बैठक बुलाई थी लेकिन चार महिला पार्षदों की जगह उनके पति पहुँच गए। Gwalior Collector News

इससे खफा कलेक्टर ने पार्षद पतियों को खरी-खोटी सुनाई और कुर्सी से उठाकर पीछे बैठा दिया। साफ शब्दों में कहा की अब महिलाएँ सबल हैं पत्नियों को ही काम करने दीजिए। बैठक निगम के बाल भवन में आयोजित की गई थी जहाँ वार्ड स्तर पर सड़कों को लेकर विचार-विमर्श होना था। कलेक्टर ने महिलाओं के सशक्तिकरण पर जोर देते हुए कहा की नवरात्रि का समय महिलाओं की शक्ति का प्रतीक है। यदि चुनी हुई महिला प्रतिनिधि अपनी जिम्मेदारी निभाने के बजाय पतियों पर छोड़ देंगी तो लोकतंत्र का मज़ाक बनेगा।

Gwalior Collector News: एक पार्षद पति ने सफाई दी कि पत्नी व्यस्त थीं लेकिन कलेक्टर ने चेतावनी दी कि भविष्य में ऐसी लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। कलेक्टर चौहान ने बैठक के अंत में सभी महिला पार्षदों को व्यक्तिगत रूप से उपस्थित रहने का निर्देश दिया।

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ग्वालियर में नवरात्रि के दौरान महिला पार्षदों की जगह पुरुषों के आने पर क्या हुआ?

कलेक्टर रूचिका चौहान ने पार्षद पतियों को खरी-खोटी सुनाई और उन्हें बैठक से बाहर बैठने का निर्देश दिया क्योंकि उन्होंने महिलाओं की जिम्मेदारी छोड़ दी थी।

कलेक्टर रूचिका चौहान ने महिला सशक्तिकरण पर क्या कहा?

उन्होंने कहा कि नवरात्रि महिलाओं की शक्ति का प्रतीक है और महिला प्रतिनिधियों को अपनी जिम्मेदारी खुद निभानी चाहिए, अन्यथा लोकतंत्र का मज़ाक बनेगा।

पार्षद पतियों ने अपने आने के पीछे क्या वजह बताई?

एक पार्षद पति ने बताया कि उनकी पत्नी व्यस्त थीं, लेकिन कलेक्टर ने भविष्य में ऐसा न करने की चेतावनी दी।

बैठक का मकसद क्या था और कहाँ हुई?

बैठक निगम के बाल भवन में हुई थी जिसमें शहर की सड़क समस्याओं पर वार्ड स्तर पर चर्चा करनी थी।

क्या भविष्य में महिला पार्षदों की उपस्थिति अनिवार्य की गई है?

हाँ, कलेक्टर ने सभी महिला पार्षदों को व्यक्तिगत रूप से बैठक में उपस्थित रहने का निर्देश दिया है।