साइबर धोखेबाजों ने खुद को अधिकारी बताकर एमएनसी की सेवानिवृत निदेशक से 25 करोड़ रुपये ठगे |

साइबर धोखेबाजों ने खुद को अधिकारी बताकर एमएनसी की सेवानिवृत निदेशक से 25 करोड़ रुपये ठगे

साइबर धोखेबाजों ने खुद को अधिकारी बताकर एमएनसी की सेवानिवृत निदेशक से 25 करोड़ रुपये ठगे

:   Modified Date:  April 25, 2024 / 02:46 PM IST, Published Date : April 25, 2024/2:46 pm IST

मुंबई, 25 अप्रैल (भाषा) महाराष्ट्र में एक बहुराष्ट्रीय कंपनी (एमएनसी) की सेवानिवृत निदेशक से साइबर धोखेबाजों ने करीब 25 करोड़ रुपये लूट लिये।

अधिकारियों ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी देते हुए बताया कि मुंबई में रहने वाली महिला को धोखेबाजों ने अपना परिचय पुलिस और केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) के अधिकारी के तौर पर दिया और कहा कि धन शोधन के एक मामले में उसके खिलाफ जांच चल रही है।

पुलिस का कहना है कि यह मामला हाल के समय में शहर में नागरिकों को निशाना बनाकर की गई सबसे बड़ी साइबर धोखाधड़ी में से एक है।

पुलिस के मुताबिक, पीड़िता ने जालसाजों को पैसे चुकाने के लिए अपनी और अपने मां के शेयर बेच दिए, म्यूचअल फंड में निवेश राशि निकाली और ‘गोल्ड लोन’ भी लिया।

पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि यह घटनाक्रम इस साल छह फरवरी से शुरू होकर दो महीने की अवधि के दौरान हुआ।

अधिकारी ने बताया, ”पश्चिम मुंबई में रहने वाली शिकायतकर्ता को व्हाट्स ऐप पर एक कॉल आया। फोन करने वाले ने खुद को दूरसंचार विभाग का एक अधिकारी बताते हुए महिला से कहा कि उसके तीन नंबर बंद कर दिये जाएंगे। पीड़िता ने इसका कारण पूछा तो फोन करने वाले व्यक्ति ने कहा कि वह पुलिस के एक अधिकारी से उनकी बात करा रहा है।”

पीड़िता एक वरिष्ठ नागरिक हैं।

अधिकारी ने बताया कि इसके बाद दूसरे व्यक्ति ने खुद को पुलिस अधिकारी बताते हुए कहा कि उन्हें महिला के खिलाफ धन शोधन की एक शिकायत प्राप्त हुई और पीड़िता का मोबाइल नंबर व आधार कार्ड मामले से संबद्ध पाया गया है।

पुलिस के मुताबिक, ”इसके बाद फोन करने वाले व्यक्ति ने किसी दूसरे व्यक्ति को कॉल ट्रांसफर की, जिसने खुद को सीबीआई अधिकारी बताया और पीड़िता को धन शोधन मामले में फंसाने की धमकी दी। उसने महिला से कहा कि अगर वह मामले से बाहर निकलना चाहती हैं तो उसे आरोपी द्वारा बताये गये बैंक खाते में पैसे जमा कराने होंगे। आरोपी ने महिला को आश्वासन दिया कि उसके पैसे उसे वापस मिल जाएंगे।”

पुलिस ने बताया कि जालसाजों ने पीड़िता के नाम पर एक चालू खाता भी खुलवाया और महिला से उसमें पैसे जमा कराने को कहा। आरोपियों ने महिला से कहा कि उसका पैसा भारतीय रिजर्व बैंक को भेजा जाएगा। फोन करने वाले व्यक्ति ने महिला को यह भी बताया कि वह अपने भुगतान की रसीद स्थानीय पुलिस थाने से ले सकती है।

पुलिस अधिकारी ने बताया कि महिला ने खाते में लगभग 25 करोड़ रुपये हस्तांतरित किए लेकिन इसे वापस पाने में असफल रही। इसके बाद पीड़िता ने मुंबई पुलिस से संपर्क किया और अज्ञात धोखेबाजों के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई।

उन्होंने बताया कि मुंबई अपराध शाखा के साइबर थाने ने मामले की जांच शुरू की और अब तक 31 बैंक खाते फ्रीज कर दिए गये हैं।

भाषा जितेंद्र मनीषा

मनीषा

 

(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)