चंद्रपुर (महाराष्ट्र), आठ जून (भाषा) महाराष्ट्र के चंद्रपुर कस्बे में जाति से बाहर विवाह करने को लेकर अपने समुदाय के सदस्यों द्वारा वर्षों से सामाजिक बहिष्कार झेल रहे व्यक्ति की मृत्यु हो जाने पर भी समाज नहीं पसीजा और पीड़ित की सात बेटियों तथा दो बेटों ने ही पिता का अंतिम संस्कार किया।
चंद्रपुर सर्कल के उप संभागीय पुलिस अधिकारी (एसडीपीओ) एसआर नांदेड़कर ने बताया कि भानग्राम मुहल्ले के निवासी प्रकाश ओंगले (55) का गोंधली समुदाय की पंचायत द्वारा पिछले 25 वर्षों से बहिष्कार किया जा रहा था क्योंकि उन्होंने दूसरी जाति की महिला से विवाह किया था।
उन्होंने कहा, ‘उनकी रविवार शाम को मृत्यु हो गई और जब अंतिम संस्कार में मदद के लिए उनके समुदाय से कोई नहीं आया तो उनकी सात बेटियों और बेटों ने शव को अपने कंधों पर ढोया और अंतिम संस्कार की रस्म पूरी की।’
एसडीपीओ ने कहा कि ओंगले के दो बेटों में से एक ने सामाजिक बहिष्कार के मुद्दे पर पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है और इसके बाद गोंधली पंचायत के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई। इस बीच, चंद्रपुर के विधायक किशोर जोरगेवार ने शोक संतप्त परिवार का समर्थन किया और वह उनके घर गए तथा पढ़ाई के लिए वित्तीय सहायता की पेशकश की।
भाषा अविनाश दिलीप
दिलीप
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