(अदिति खन्ना)
लंदन, 23 नवंबर (भाषा) संपर्क में आए ऐसे हानिरहित कोरोना वायरस जिनके चलते केवल सर्दी-जुकाम जैसी परेशानी होती हैं, वे कोविड-19 के खिलाफ कुछ हद तक रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में मददगार साबित हो सकते हैं। ‘नेचर कम्युनिकेशंस’ पत्रिका में प्रकाशित एक नए शोध में यह जानकारी सामने आयी है।
यह ज्ञात तथ्य है कि कोविड-19 का कारण बनने वाला नोवेल कोरोना वायरस का संक्रमण और कोविड-रोधी टीकाकरण, सार्स-सीओवी-2 के खिलाफ मजबूत रोग प्रतिरोधक क्षमता विकसित करते हैं।
ज्यूरिख विश्वविद्यालय के शोधकर्ताओं ने इस सप्ताह एक ”क्रॉस-रिएक्टिव” प्रतिरक्षा प्रतिक्रिया का खुलासा किया, जिसको लेकर विशेषज्ञों का मानना है कि यह एक महत्वपूर्ण कड़ी हो सकती है कि व्यापक कोरोना वायरस प्रतिरक्षा कैसे प्राप्त की जाए।
ज्यूरिख विश्वविद्यालय में चिकित्सा विषाणु विज्ञान संस्थान की प्रमुख अलेक्जेंडर ट्रकोला ने कहा, ” अन्य कोरोना वायरस के खिलाफ मजबूत रोग प्रतिरोधक प्रतिक्रिया वाले लोगों में सार्स-सीओवी-2 संक्रमण के खिलाफ भी कुछ हद तक बचाव की क्षमता होती है।”
उन्होंने कहा, ” हमारा अध्ययन यह दर्शाता है कि अन्य कोरोना वायरस के खिलाफ मजबूत रोग प्रतिरोधक प्रतिक्रिया सार्स-सीओवी-2 के खिलाफ भी काफी हद तक रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाती है। ऐसे में, हानिरहित कोरोना वायरस के खिलाफ रोग प्रतिरोधक क्षमता प्राप्त करने वाले लोगों को गंभीर रूप से बीमार करने वाले सार्स-सीओवी-2 के खिलाफ भी बेहतर सुरक्षा प्राप्त होती है।”
भाषा शफीक दिलीप
दिलीप
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