नोटा गुजरात की जनता की चौथी पसंद, करीब 2 फीसदी ने दबाया बटन

नोटा गुजरात की जनता की चौथी पसंद, करीब 2 फीसदी ने दबाया बटन

नोटा गुजरात की जनता की चौथी पसंद, करीब 2 फीसदी ने दबाया बटन
Modified Date: November 29, 2022 / 08:00 pm IST
Published Date: December 18, 2017 10:00 am IST

दिल्ली। गुजरात और हिमाचल प्रदेश में विधानसभा चुनावों के लिए आज की मतगणना में नोटा यानी इनमें से कोई नहीं विकल्प भी वोटरों के लिए अहम विकल्प बनकर उभरा है। 1.9 फीसदी मतदाताओं ने सभी राजनीतिक दलों और निर्दलीय उम्मीदवारों को नकारते हुए NOTA के आगे बटन दबाया है। 

 

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चुनाव आयोग के आंकड़ों के मुताबिक गुजरात में खबर लिखे जाने तक भारतीय जनता पार्टी को 49.3 फीसदी वोट मिले हैं और वो न सिर्फ सीटों बल्कि वोट शेयर के मामले में भी नंबर वन पर है। दूसरे नंबर पर कांग्रेस है, जिसके खाते में 41.4 फीसदी वोट शेयर हैं। तीसरे स्थान पर निर्दलीय उम्मीदवार हैं, जिन्होंने कुल मिलाकर 4.1 फीसदी वोट शेयर हासिल किए हैं। इसके बाद नंबर आता है नोटा का, जिसे 1.9 फीसदी लोगों ने चुना है यानी 1.9 फीसदी मतदाताओं ने किसी को भी नहीं चुनने का फैसला सुनाया है।

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आपको ये भी बता दें कि बहुजन समाज पार्टी और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी यानी बीएसपी और एनसीपी जैसी पार्टियां गुजरात चुनाव में 1 फीसदी वोट भी हासिल नहीं कर पाई। इन दोनों के हिस्से में 0.7-0.7 फीसदी वोट शेयर ही आ पाए। छोटू बसावा की भारतीय ट्राइबल पार्टी यानी बीटीपी भी 0.7 फीसदी वोट शेयर ही ला पाई। 

 

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हिमाचल प्रदेश में हालांकि NOTA के विकल्प पर ईवीएम का बटन दबाने वाले मतदाता गुजरात की तुलना में कम रहे, वहां 0.9 फीसदी वोटरों ने नोटा का विकल्प चुना। 

 

 

वेब डेस्क, IBC24


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