NHAI ने पश्चिम बंगाल में निर्माणाधीन पुल गिरने के मामले में चीनी कंपनी समेत पांच पर रोक लगाई | NHAI bans five including Chinese company in west Bengal bridge collapse case

NHAI ने पश्चिम बंगाल में निर्माणाधीन पुल गिरने के मामले में चीनी कंपनी समेत पांच पर रोक लगाई

NHAI ने पश्चिम बंगाल में निर्माणाधीन पुल गिरने के मामले में चीनी कंपनी समेत पांच पर रोक लगाई

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 07:48 PM IST, Published Date : September 7, 2020/4:50 pm IST

नई दिल्ली। भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) ने पश्चिम बंगाल में एक निर्माणाधीन पुल का गार्डर गिरने के मामले में जिम्मेदार पायी गयी निर्माण कंपनियों और परामर्शकों पर भविष्य में अपनी किसी भी परियोजना में हिस्सा लेने से रोक दिया है। इसमें एक चीन की कंपनी भी शामिल है। राज्य में फरक्का बैराज पर गंगा नदी के ऊपर बन रहे निर्माणाधीन पुल के लॉन्चिंग गार्डर का एक हिस्सा 16 फरवरी 2020 को गिर गया, जिससे पुल का खड़ा हुआ हिस्सा भी ढह गया और इस दुर्घटना में दो लोगों की जान चली गयी।

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एनएचएआई ने सोमवार को एक बयान में कहा, ‘‘ एनएचएआई ने 16 फरवरी 2020 को पश्चिम बंगाल में गंगा नदी के ऊपर बन रहे एक नए चार लेन के पुल का गार्डर गिरने के मामले में कड़ी कार्रवाई की है। यह पुल राष्ट्रीय राजमार्ग-34 के फरक्का-रायगंज खंड को जोड़ने वाले मार्ग में फरक्का बैराज पर बन रहा है। इस दुर्घटना में दो लोगों की मौत हो गयी थी।’’

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एनएचएआई ने कहा कि चीन की क्विंगदाओ कंस्ट्रक्शन इंजीनियरिंग ग्रुप कंपनी लिमिटेड और घरेलू कंपनी आरकेईसी प्रोजेक्ट्स लिमिटेड पर संयुक्त रूप से भविष्य में किसी परियोजना में भागीदार बनने से रोक लगा दी है। साथ ही दोनों कंपनियां अलग-अलग भी अगले तीन साल तक एनएचएआई की किसी निविदा में बोली नहीं लगा सकेंगी। इसके अलावा वैक्स कंसल्टेंट्स प्राइवेट लिमिटेड और नागेश कंसल्टेंट्स प्राइवेट लिमिटेड पर भी समान तरीके से रोक लगायी गयी है। साथ ही दिल्ली की एनसी इंफ्राकॉन कंसल्टेंट पर तीन साल के लिए संयुक्त या पृथक तौर पर निविदा प्रक्रिया का हिस्सा बनने से रोक लगायी गयी है।

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गौरतलब है कि दुर्घटना के बाद एनएचएआई ने मामले की जांच के लिए एक सेतु विशेषज्ञ की नियुक्ति की थी। विशेषज्ञ ने अपनी जांच में घटना का जिम्मेदार ठेकेदार, डिजाइन परामर्शक और लॉन्चिंग गार्डर के डिजाइनर के बीच समन्वय की कमी को पाया। जांच में ठेकेदार और परामर्शक को डिजाइन और लॉन्चिंग गार्डर प्रणाली में दोष के लिए जिम्मेदार ठहराया गया। जांच के दौरान वह इस असफलता के लिए कोई ठोस कारण पेश नहीं कर सके।

 

 
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