दिल्ली में कोरोना गाइडलाइन के नियमों में लोगों को जहां थोड़ी राहत दी गई तो कोरोना मरीजों की संख्या में फिर इजाफा देखने को मिला है।  एक तरफ मास्क लगाने की अनिवार्यता खत्म हुई है, वहीं दूसरी तरफ राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना के मामले बढ़ने लगे हैं।

मास्क से पाबंदी हटते ही बढ़ने लगे कोरोना के केस, यहां नए मामलों की संख्या ठीक होने वाले मरीजों से ज्यादा

दिल्ली में कोरोना गाइडलाइन के नियमों में लोगों को जहां थोड़ी राहत दी गई तो कोरोना मरीजों की संख्या में फिर इजाफा देखने को मिला है।  एक तरफ मास्क लगाने की अनिवार्यता खत्म हुई है, वहीं दूसरी तरफ राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना के मामले बढ़ने लगे हैं।

Edited By :   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:15 PM IST, Published Date : April 3, 2022/10:47 am IST

नई दिल्ली। दिल्ली में कोरोना गाइडलाइन के नियमों में लोगों को जहां थोड़ी राहत दी गई तो कोरोना मरीजों की संख्या में फिर इजाफा देखने को मिला है।  एक तरफ मास्क लगाने की अनिवार्यता खत्म हुई है, वहीं दूसरी तरफ राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना के मामले बढ़ने लगे हैं।

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कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों में गिरावट के चलते दिल्ली समेत देश के कुछ राज्यों में मास्क नहीं लगाने पर जुर्माना न लगाने का निर्णय लिया गया है लेकिन स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना है कि इस प्रतिबंध को पूरी तरह हटाना जल्दबाजी वाला कदम होगा।

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उनका कहना है कि मास्क का प्रयोग करने से कोरोना वायरस के अलावा इन्फ्लुएंजा और स्वाइन फ्लू से भी बचा जा सकता है। महाराष्ट्र और दिल्ली की सरकारों ने हाल में सार्वजनिक स्थानों पर मास्क पहनने की अनिवार्यता में ढील देने का निर्णय लिया था। पिछले दो साल से लागू इस नियम के तहत मास्क नहीं लगाने पर दो हजार रुपये के जुर्माने का प्रावधान था।

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भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद के विषाणु विज्ञान उन्नत अनुसंधान केंद्र के पूर्व निदेशक जॉन ने कहा, ‘मास्क लगाने की इस आदत से बीमारियां कम फैलेंगी। वर्तमान में हम किडनी प्रतिरोपण के मरीजों को मास्क लगाते देखते हैं।

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बस, ट्रेन, विमान आदि में सभी को इससे लाभ होगा।’ फरीदाबाद के फोर्टिस अस्पताल में डॉक्टर रवि शेखर झा ने कहा कि मास्क लगाने की अनिवार्यता जारी रहनी चाहिए और इस आदत को त्यागना उचित समय से पहले लिया गया फैसला होगा।