Small car will be discontinued in India? says Maruti Chief RC Bhargava

Maruti Suzuki India: इंडिया में बंद हो जाएगी छोटी कार? Maruti के चीफ ने कही ये बड़ी बात

RC BhargavaMaruti Suzuki India Chairman RC Bhargava :Maruti Suzuki India Chairman RC Bhargava : कहते हैं सबका एक दौर होता है।

Edited By :   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:13 PM IST, Published Date : October 31, 2022/9:08 pm IST

Maruti Suzuki India Chairman RC Bhargava : कहते हैं सबका एक दौर होता है। उस दौर के बाद सब धीरे-धीरे फीके पड़ने लगते हैं। मॉकेट से गायब होने लगते हैं। उनकी चमक फीकी पड़ने लगती है। लाइमलाइट में कम होने लगते हैं। कुछ ऐसा ही होने जा  रहा है Maruti Suzuki India के साथ।  एक वक्त था, जब इंडिया के कार मार्केट में छोटी हैचबैक कारों की तूती बोला करती थी। Maruti 800 के साथ शुरू हुआ ये सफर Zen, Alto, Swift, WagonR, Celerio, Ignis से होता हुआ Hyundai Santro, Tata Indica, Matiz, Tata Nano जैसी छोटी कारों तक गया।

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इस तरह की छोटी कारों का बाजार भले घट ना रहा हो, लेकिन बड़ी गाड़ियों जैसे कि एसयूवी, एमयूवी, क्रॉसओवर और प्रीमियम हैचबैक का दायरा लगातार बढ़ रहा है। एक्सपर्ट्स का अनुमान है कि आने वाले समय में इंडिया के ऑटो मार्केट से शायद छोटी कारें विदा भी ले लें। अभी ही देखें तो शायद ही इस सेगमेंट की कोई कार हो जिसकी कीमत एक ग्राहक को 5 लाख रुपये से कम पड़ती हो। अब इस बारे में Maruti Suzuki India के चेयरमैन आरसी भार्गव ने भी अहम बातें कहीं हैं। भार्गव ने कहा कि इंडिया अब छोटी कारों के बाजार से थोड़ा दूरी बना रहा है। कंपनी ने हाल में Brezza, Grand Vitara जैसी गाड़ियां उतारी हैं। कंपनी और कई नई एसयूवी पर काम करता है। हमारा काम अपने ग्राहकों के हिसाब से चलना है। पहले इंडिया में छोटी कारों का बाजार कुल कारों का करीब 75% था, जो आने वाले समय में घटकर 60-65 प्रतिशत पर आ सकता है।

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Maruti Suzuki India hairman RC Bhargava : कंपनी के दूसरी तिमाही के परिणामों की घोषणा के साथ मीडिया से एक बातचीत में भार्गव ने कहा कि साल 2018 के पीक के मुकाबले आने वाले साल में देश का ऑटो उद्योग कुछ प्रतिशत की वृद्धि भले दर्ज करेगा। पर हैचबैक सेगमेंट की कारों में कम वृद्धि अगले साल भी जारी रहेगी। आरसी भार्गव ने कहा कि साल 2018 में 22।4 लाख पैसेंजर कारों की बिक्री हुई थी। इस साल उम्मीद है कि ये आंकड़ा इसके पार चला जाएगा। लगभग 4 साल के बाद ऑटो उद्योग फिर से बढ़ोतरी की राह पर है। रही बात छोटी कारों की, तो दूसरी तिमाही में इनकी सेल्स में थोड़ी वृद्धि दिखी है, लेकिन ये सिर्फ फेस्टिव सीजन की वजह से है। आर। सी। भार्गव ने कहा कि ये दिखाता है कि अब लोगों की हैचबैक कार खरीदने का क्षमता घट रही है। छोटी कारों की बिक्री महंगाई बढ़ने से पहले ही घटने लगी थी। पिछले 3 साल में इनकी बिकने वाली यूनिट्स में 26% की कमी आई है। महंगाई इस स्थिति को और बदहाल कर रही है।