प्रयागराज, 11 जून (भाषा) प्रयागराज पुलिस ने बड़े पैमाने पर ऑनलाइन गेम के माध्यम से करोड़ों रुपये की ठगी करने वाले अंतरराज्यीय गिरोह का भंडाफोड़ करते हुए 12 शातिर आरोपियों को गिरफ्तार किया है और उनके पास से 42 मोबाइल फोन, 52 सिम कार्ड, पांच लैपटॉप और ढाई करोड़ रुपये की काली कमाई का बहीखाता बरामद किया है।
पुलिस उपायुक्त (डीसीपी-यमुना नगर) श्रद्धा नरेन्द्र पांडेय ने मंगलवार को संवाददाताओं को बताया कि कोतवाली नैनी पुलिस और ‘एसओजी-यमुनानगर’ की संयुक्त टीम ने सोमवार को एक मुखबिर की सूचना पर महेवा के पूरब पट्टी कब्रिस्तान के पास एक मकान से सोमवार को इन आरोपियों को गिरफ्तार किया।
उन्होंने बताया कि पुलिस टीम को इनके कब्जे से 42 मोबाइल, 52 सिम कार्ड, पांच लैपटॉप और प्रतिदिन की काली कमाई ( दो करोड़ 53 लाख रूपये) का लेखा जोखा बरामद हुआ।
पांडेय ने बताया कि गिरफ्तार आरोपियों की पहचान सूरज चौरसिया (प्रतापगढ़), पीयूष यादव (गाजीपुर), घनश्याम वर्मा (बिलासपुर, छत्तीसगढ़), हिमांशु यादव (गाजीपुर), मनीष निषाद (बालोद छत्तीसगढ़), अजीम फरीद (गाजीपुर), शादाब (गाजीपुर), प्रवीण वर्मा (बिलासपुर, छत्तीसगढ़), विजय निषाद (बालोद छत्तीसगढ़), राहुल कामले (बिलासपुर), मोहम्मद समीर (भदोही) और आशुतोष यादव (गाजीपुर) के रूप में हुई है।
उन्होंने बताया कि आरोपियों से पूछताछ में पता चला कि ये लोग ‘गेमिंग ऐप साइट’ का इंस्टाग्राम, फेसबुक और मल्टीमीडिया प्लेटफार्म का इस्तेमाल कर नवयुवकों को लुभावने स्लोगन देकर और पैसा कमाने का लालच देकर गेम खिलाते थे और जब छोटी -मोटी रकम जीतने पर लोग बड़ा दांव लगा देते थे, तब वे लाखों रुपये की ठगी का शिकार हो जाते थे।
डीसीपी ने बताया कि पूछताछ से ज्ञात हुआ कि ये आरोपी एक दिन में आठ लाख रुपये से लेकर 25 लाख रुपये तक की ठगी करते थे। इस गिरोह के कुछ सदस्य बिहार के गोपालगंज में एक ऑनलाइन ठगी गिरोह में शामिल थे और गोपालगंज की पुलिस ने भी वहां के गिरोह का भंडाफोड़ कर आरोपीों को गिरफ्तार किया है।
पांडेय ने बताया कि इन आरोपियों के खिलाफ नैनी कोतवाली में मुकदमा पंजीकृत कर विधिक कार्यवाही के तहत उन्हें जेल भेज दिया गया।
भाषा राजेंद्र
राजकुमार
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