मोदी ने किया सबसे लंबे रेल-सड़क पुल का उद्घाटन, बताया असम और अरुणाचल के लोगों के लिए लाइफ लाइन | Modi inaugurated the longest railway-road bridge in Assam

मोदी ने किया सबसे लंबे रेल-सड़क पुल का उद्घाटन, बताया असम और अरुणाचल के लोगों के लिए लाइफ लाइन

मोदी ने किया सबसे लंबे रेल-सड़क पुल का उद्घाटन, बताया असम और अरुणाचल के लोगों के लिए लाइफ लाइन

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 07:49 PM IST, Published Date : December 25, 2018/10:20 am IST

डिब्रूगढ़। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को असम के डिब्रूगढ़ जिले में ब्रह्मपुत्र नदी पर बने देश के सबसे बड़े रेल-सड़क पुल (बोगीबील पुल) का उद्घाटन किया। पीएम मोदी ने पुल की दूसरी छोर पर स्थित धीमाजी में एक जनसभा को संबोधित भी किया। संबोधन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने आसामी भाषा में अपनी बात शुरु कर रैली में मौजूद लोगों का अभिवादन किया।

लोगों को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा कि आज का दिन ऐतहासिक है। आप सभी को देश के सबसे लंबे रेल-रोड ब्रिज की बधाई। उन्होंने कहा कि सुशासन के लिए विख्यात हम सबके श्रद्धेय अटल बिहारी वाजपेयी जी का आज जन्मदिवस है। उनके जन्मदिवस को हम सुशासन के तौर पर मनाते हैं। प्रधानमंत्री ने कहा कि यह ब्रिज, सिर्फ एक ब्रिज नहीं है बल्कि असम और अरुणाचल के लोगों के लिए लाइफ लाइन है। इस ब्रिज की वजह से ईंटानगर और डिब्रूगढ़ के बीच की दूरी 200 किमी से भी कम रह गई । उन्होंने कहा कि डिब्रूगढ़ नॉर्थ ईस्ट का एक बहुत बड़ा सेंटर है। शिक्षा से लेकर स्वास्थ्य की जरूरतों के लिए लाखों लोगों की जरूरत है।

बता दें कि इस पुल के पूरा होने में दो दशक से अधिक का समय लगा। बीजी (बड़ी लाइन) ट्रैक पर डबल लाइन और सड़क के तीन लेन के साथ निर्मित यह पुल देश के अधिकांश पूर्वोत्तर इलाकों के लिए जीवन रेखा होगी। यह असम और अरुणाचल प्रदेश के पूर्वी क्षेत्र में ब्रह्मपुत्र नदी के उत्तर और दक्षिण तट के बीच संपर्क की सुविधा भी प्रदान करेगा। इस पुल पर लड़ाकू विमान भी उतर सकेंगे।

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गौरतलब है कि बोगीबील पुल परियोजना असम समझौते 1985 का एक हिस्सा है और इसे वर्ष 1997-98 में स्वीकृत किया गया था। तत्कालीन प्रधान मंत्री एच डी देवेगौड़ा ने 22 जनवरी 1997 को इस परियोजना की आधारशिला रखी थी। इसके बाद तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने 21 अप्रैल 2002 को इस परियोजना का काम शुरू किया गया था और उनकी जयंती के मौके पर मंगलवार को पुल राष्ट्र को समर्पित किया गया।