सतारा (महाराष्ट्र), 28 अक्टूबर (भाषा) सेना के दो शीर्ष जनरल सतारा स्थित देश के पहले सैनिक स्कूल से उत्तीर्ण होने के 41 साल बाद शनिवार को यहां अपने विद्यालय में पहुंचे।
असम राइफल्स के महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल प्रदीप सी नायर और डिप्टी चीफ ऑफ आर्मी स्टाफ (क्षमता विकास एवं निर्वहन) लेफ्टिनेंट जनरल जगदीश चौधरी ने सतारा के सैनिक स्कूल में अपनी पुरानी कक्षा में जब कुछ देर बैठकर वर्तमान कैडेट संग बातचीत की, तो वे अपनी स्मृतियों में खो गये।
लेफ्टिनेंट जनरल नायर और लेफ्टिनेंट जनरल चौधरी शनिवार को स्कूल के वार्षिक अकादमिक दिवस समारोह में बतौर क्रमश: मुख्य अतिथि और विशिष्ट अतिथि के रूप में शामिल हुए।
दोनों ही अधिकारी के बीच विशेष जुड़ाव रहा है, क्योंकि वे सैनिक स्कूल, सतारा में एक ही कक्षा में थे तथा राणा प्रताप छात्रावास में रहते थे । वे राष्ट्रीय रक्षा अकादमी में भी एक ही स्क्वाड्रन में थे।
सतारा का सैनिक स्कूल देश में स्थापित पहला सैनिक स्कूल है। यह 23 जून, 1961 को तत्कालीन रक्षा मंत्री वी के कृष्ण मेनन और महाराष्ट्र के तत्कालीन मुख्यमंत्री वाई बी चव्हाण के प्रयासों से अस्तित्व में आया था। अपनी स्थापना के बाद से इस स्कूल ने भारतीय सशस्त्र बलों को 800 से अधिक अधिकारी दिये हैं, जिनमें पूर्व वायुसेना प्रमख पी वी नायक भी शामिल हैं। इस स्कूल के पूर्व छात्रों ने सिविल सेवाओं में भी अपनी अलग पहचान बनाई है।
भाषा राजकुमार दिलीप
दिलीप
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