रायपुर। आज नवरात्र का छठवां दिन हैं। आज के दिन मां कात्यायनी की पूजा की जा रही है। इनकी उपासना और आराधना से भक्तों को बड़ी आसानी से अर्थ, धर्म, काम और मोक्ष फलों की प्राप्ति होती है, उनके रोग, शोक, संताप और भय नष्ट हो जाते हैं। मां का यह रूप बेहद सरस, सौम्य और मोहक है।
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कहते हैं कि कत नामक एक प्रसिद्ध महर्षि थे, उनके पुत्र ऋषि कात्य हुए। इन्हीं कात्य के गोत्र में विश्वप्रसिद्ध महर्षि कात्यायन उत्पन्न हुए थे। इन्होंने भगवती की उपासना करते हुए बहुत वर्षों तक बड़ी कठिन तपस्या की थी, उनकी इच्छा थी मां भगवती उनके घर पुत्री के रूप में जन्म लें।
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मां भगवती ने उनकी यह प्रार्थना स्वीकार कर ली, जिसके बाद से मां का नाम ‘कात्यायनी’ पड़ा। यही नहीं कहा जाता है कि भगवान कृष्ण को पति रूप में पाने के लिए ब्रज की गोपियों ने इन्हीं की पूजा की थी।
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