भोपाल: कोरोना की दूसरी लहर ने पूरे देश में हाहाकार मचा रखा है। एक तरफ जीवनरक्षक दवाइयों की कमी और उसके ऊपर कालाबाजारी। कहीं ऑक्सीजन की कमी तो, कहीं मौत के बाद हंगामा। ये सारी तस्वीरें आप तक जरुर पहुंची होगी, लेकिन अब बात 18+ पर आकर फंस गई है। क्योंकि 18 साल से ऊपर के लोग ये सोचकर बैठे थे कि अब हमें भी वेक्सीन जल्द ही लगने वाली है। तारिख भी तय थी 1 मई लेकिन मध्यप्रदेश के पास फिलहाल वेक्सीन नहीं है। इसलिए 18+ को इंतजार करना पडेगा, लेकिन कितना, ये तो हुक्मरान ही जाने। लेकिन इस पर अब विपक्ष लगतार हमलावर होता जा रहा है और सोशल मीडिया पर 18+ लोग भी सवाल पूछ रहे हैं?
मध्यप्रदेश सरकार के स्वास्थ्य मंत्री प्रभुराम चौधरी ने बताया कि राज्य में सरकार की वैक्सीन को लेकर क्या तैयारी है और सरकार वैक्सीन कार्यक्रम को लेकर कितनी गंभीर है। एक तरफ जहां देश भर में 18 साल से ऊपर वैक्सीन लगनी शुरू हो गई है। वहीं मध्यप्रदेश में अभी इस वर्ग को इंतजार करना पड़ेगा और ये इंतजार कितना लंबा होगा? इसका जवाब खुद प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री के पास भी नहीं है। ऐसे में कांग्रेस ने इसे सरकार की नाकामी बताते हुए आड़े हाथों लिया।
पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने ट्वीट किया कि 1 मई से 18 वर्ष से अधिक उम्र वाले लोगों को कोरोना वैक्सीन लगाने के तीसरे चरण की घोषणा बनी जनता के साथ बड़ा धोखा व चुनावी जुमला? 19 अप्रैल को मोदी सरकार द्वारा की गई घोषणा, 28 अप्रैल से पंजीयन शुरू करने की बात , 29 अप्रैल को प. बंगाल , यूपी में मतदान का अंतिम चरण था। अंतिम चरण का चुनाव समाप्त होते ही वैक्सीन के तीसरे चरण की घोषणा की असलियत सामने आई? देशभर में वैक्सीन का भारी टोटा , 2.5 करोड़ से अधिक लोगों ने रजिस्ट्रेशन कराये लेकिन वैक्सीन के ही पते नहीं, कब आयेगी, कब लगेगी, कुछ पता नहीं। कांग्रेस का आरोप है कि सरकार ने मुफ्त वैक्सीन का सपना दिखा कर लोग से रजिस्ट्रेशन तो कराए, लेकिन वैक्सीन न होने को लेकर सरकार की वादाखिलाफी सामने आई है। कांग्रेस इसे सियासी मुद्दा बनाते हुए इसे जनता के साथ खिलवाड़ बता रही है। हालांकि सरकार का कहना है कि उसने अपनी और से वैक्सीन के 45 लाख डोज का ऑर्डर दिया है और जल्द ही वैक्सीन मध्य प्रदेश में उपलब्ध होगी।
जाहिर है शिवराज सरकार ने 1 मई से 18 साल से ऊपर सभी को मुफ्त वैक्सीन लगाने का ऐलान किया, लेकिन वैक्सीन की उपलब्धता को लेकर सरकार अपने ही ऐलान में फंस गई है और विपक्ष के निशाने पर है। दरअसल केंद्र की बीजेपी सरकार ने पश्चिम बंगाल के चुनाव में इसे बड़ा सियासी मुद्दा बनाते हुए वहां निःशुल्क वैक्सीन का ऐलान किया। लिहाजा बंगाल में पीएम के इस ऐलान के बहाने कांग्रेस मध्यप्रदेश में सरकार को घेरने में जुट गई है।