सरगुजा। छत्तीसगढ़ के सभी वर्तमान सांसदों के टिकट काटकर नए चेहरों को मौका दिए जाने के समीकरण के जरिए भाजपा ने नई रणनीति जरूर बनाई है मगर सरगुजा लोकसभा क्षेत्र में ये इतिहास पुराना रहा है और अब तक जीते गए सांसदों के टिकट काटने से भाजपा को लाभ भी हुआ है। मगर इस बार कांग्रेस जीत का दावा कर रही है।
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वहीं भाजपा पहली बार महिला सांसद बनाने का दमखम लगा रही है। वर्ष 2004 में नंदकुमार साय चुनाव जीतकर संसद में पहुंचे मगर 2009 के चुनाव में भाजपा ने उन्हें टिकट नहीं दिया और मुरारी लाल सिंह भाजपा के प्रत्याशी बने और उन्होंने चुनाव में जीत दर्ज की। इसके बाद 2014 के चुनाव में भी भाजपा ने अपना प्रत्याशी बदला और मौका मिला। इसके साथ ही वर्तमान सांसद कमलभान सिंह ने भी 2014 में जीत दर्ज की।
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मगर अब 2019 के संग्राम में कमलभान भी मैदान से बाहर हैं और अब पार्टी ने पूर्व मंत्री रह चुकी रेणुका पर दांव लगाया है और अपने प्रत्याशी के रूप में मैदान में उतारा है। भाजपा का कहना है कि प्रत्याशी चयन की प्रक्रिया शीर्ष नेता करते हैं और उनका निर्णय भाजपा के लिए हितकारी ही रहा है।