मध्यप्रदेश का छिंदवाड़ा अब कांग्रेस का गढ़ नहीं रहा : मुख्यमंत्री मोहन यादव |

मध्यप्रदेश का छिंदवाड़ा अब कांग्रेस का गढ़ नहीं रहा : मुख्यमंत्री मोहन यादव

मध्यप्रदेश का छिंदवाड़ा अब कांग्रेस का गढ़ नहीं रहा : मुख्यमंत्री मोहन यादव

:   Modified Date:  March 27, 2024 / 09:38 PM IST, Published Date : March 27, 2024/9:38 pm IST

(तस्वीर के साथ)

छिंदवाड़ा, 27 मार्च (भाषा) मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कांग्रेस के दिग्गज नेता कमलनाथ को उनके गृह क्षेत्र में ललकारते हुए बुधवार को कहा कि छिंदवाड़ा के लोगों ने आगामी लोकसभा चुनावों में इस निर्वाचन क्षेत्र से ‘एक ही परिवार का राज’ खत्म करने का फैसला कर लिया है।

यादव ने एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि छिंदवाड़ा अब कांग्रेस का गढ़ नहीं रहा। उन्होंने 2019 के लोकसभा चुनाव में कमलनाथ के बेटे नकुल नाथ की छिंदवाड़ा से 37,000 मतों के अंतर से जीत का जिक्र करते हुए यह बात कही।

यादव ने कहा,’कोई कह रहा है कि छिंदवाड़ा कांग्रेस का गढ़ है। अब यह कांग्रेस का गढ़ नहीं है, लेकिन यहां सब कुछ गड़बड़ है। (कांग्रेस खेमे में) कोई नहीं बचा है। वह (नकुल नाथ) हारने वाले थे, लेकिन बस 37,000 वोट से जीत सके। जहां लाखों वोट पड़े हों, वहां यह अंतर कुछ भी नहीं है।’’

मुख्यमंत्री, छिंदवाड़ा से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रत्याशी विवेक बंटी साहू द्वारा नामांकन पत्र दाखिल किए जाने के बाद एक सभा को संबोधित कर रहे थे।

छिंदवाड़ा लोकसभा सीट पर नकुल नाथ ने 2019 में भाजपा के नत्थन शाह को 37,000 वोट से हराया था, जबकि 2014 में इस क्षेत्र में कमलनाथ ने 1.16 लाख मतों के अंतर से जीत हासिल की थी।

यादव ने कहा कि कमलनाथ खुद को भगवान हनुमान का भक्त बताते हैं, लेकिन जब वह सूबे के मुख्यमंत्री थे, तो जामसांवली में हनुमान मंदिर के विकास में विफल रहे। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार ने इस मंदिर को विकसित किया।

यादव ने कमलनाथ पर ‘‘भावनात्मक कार्ड’’ खेलकर वोट मांगने का आरोप भी लगाया। उन्होंने कहा,’कमलनाथ को केंद्रीय मंत्री और बाद में मुख्यमंत्री भी बनाया गया। लोग इस बार उनके जाल में फंसने वाले नहीं हैं। वे सब कुछ समझते हैं।’

मुख्यमंत्री ने कहा,’हालांकि वह (कमलनाथ) अपने निर्वाचन क्षेत्र में एक हेलीकॉप्टर लाए थे, लेकिन उन्होंने इसे अपने घर में ही खड़ा रखा।’

उन्होंने कहा,”कमलनाथ कहते थे कि मुख्यमंत्री के रूप में उन्हें काम करने के लिए सिर्फ 13 महीने मिले, जबकि मौजूदा भाजपा सरकार ने महज तीन महीनों के कार्यकाल में जनता के लिए एयर एम्बुलेंस सेवा शुरू कर दी।”

इससे पहले, मीडिया के साथ बात करते हुए यादव ने कहा कि छिंदवाड़ा की जनता ने इस क्षेत्र में ‘एक ही परिवार का राज’ खत्म करने का फैसला कर लिया है और जनता का रुझान अब प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी और भाजपा के पक्ष में है। मुख्यमंत्री ने कहा,”हम छिंदवाड़ा को एक आदर्श लोकसभा क्षेत्र के रूप में विकसित करेंगे।”

भाजपा उम्मीदवार साहू ने जब छिंदवाड़ा से अपना पर्चा दाखिल किया, तो राज्य भाजपा इकाई के अध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा और सूबे के दो काबीना मंत्री- कैलाश विजयवर्गीय और प्रहलाद पटेल भी मौजूद थे।

छिंदवाड़ा को दशकों से कांग्रेस का गढ़ माना जाता है। आजादी के बाद से अबतक कांग्रेस इस निर्वाचन क्षेत्र से केवल एक बार चुनाव हारी है।

कमलनाथ लोकसभा में इस सीट का नौ बार प्रतिनिधित्व कर चुके हैं। 2019 के चुनावों के दौरान राज्य में कांग्रेस के खाते में केवल छिंदवाड़ा सीट गई थी। भाजपा ने सूबे की 29 में से 28 सीटों पर जीत हासिल की थी। भाषा हर्ष धीरज

धीरज

 

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